पद्मावती का विरोध करने वाले संगठन करणी सेना ने पहले दीपिका की नाक काटने की धमकी दी। फिर विरोधियों ने भंसाली और दीपिका का सिर काटने वाले को 5 करोड़ रुपये इनाम देने की घोषणा कर दी। भोपाल में आज संस्कृति बचाओ मंच ने पद्मावती फिल्म के निदेशक संजय लीला भंसाली और दीपिका पादुकोण के खिलाफ हवन किया। उन्होंने कहा कि यदि संजय लीला भंसाली और दीपिका यहां आते हैं तो उनका चेहरे पर कालिख पोतेंगे और उनके खिलाफ देशद्रोह का मामला दर्ज करेंगे।
आपको बता दे कि अब इस बवाल का असर चित्तौड़गढ़ के किले पर पड़ा है। प्रदर्शनकारियों ने चित्तौड़गढ़ किले के गेट को बंद कर दिया है। किला घूमने आए हर सैलानी को किले के गेट से ही लौटा दिया जा रहा है। चित्तौड़गढ़ में बंद का ऐलान कर दिया गया है। उधर, धमकी के मद्देनजर मुंबई में ऐक्ट्रेस दीपिका पादुकोण की सुरक्षा बढ़ा दी गई है।
सर्व समाज विरोध समिति के सदस्य रणजीत सिंह ने बताया किहमने सुबह 10 बजे से चित्तौड़गढ़ किले के पदन पोल गेट के नाम से पहचाने जाने वाले पहले गेट को बंद कर दिया है. हम किसी को किले में प्रवेश करने की अनुमति नहीं दे रहे हैं. यह एक शांतिपूर्ण विरोध है और 6 बजे तक जारी रहेगा।
उन्होंने कहा कि किले में आने वाले पर्यटकों को वापस जाने के लिए कहा गया। यहां अक्टूबर से शुरू होने वाले पर्यटन सत्र में औसतन 3,000 से 4,000 से अधिक लोग किले का दौरा करते हैं। विरोध समिति के सदस्य के.के. शर्मा ने कहा, ”हमने विरोध शुरू किया है और लगभग 400-450 लोग गेट के बाहर धरने पर बैठे हैं. दिन चढ़ने के साथ-साथ संख्या में बढ़ने की संभावना है।
वही ,शहर में धरना स्थल पर हवाई फायर से शुक्रवार काे सनसनी मच गर्इ। यहां पद्मावती फिल्म के विरोध में धरना चल रहा है। दरअसल एक युवक ने दुनाली बंदूक से जोश में हवाई फायर कर दिया। गाेली चलने की आवाज से हर काेर्इ सकते में आ गया। पुलिस ने किसी से भी एेसा न करने का आग्रह किया है।
आपको बता दे कि एक दिसंबर को रिलीज होने जा रही भंसाली की फिल्म पद्मावती पर ऐतिहासिक तथ्यों से छेड़छाड़ का आरोप लगाया जा रहा है। इस फिल्म में दीपिका पादुकोण मिथकीय पात्र मानी जाने वाली रानी पद्मावती का किरदार अदा कर रही हैं। इस फिल्म ने राजनीति रंग ले लिया है। करणी सेना ने दीपिका को सीधे चुनौती देते हुए कहा है कि उन्हें भड़काने की बुरी कीमत चुकानी पड़ेगी। बीजेपी भी पद्मावती फिल्म के विरोधियों के साथ खड़ी हो गई है। केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा है कि फिल्म में ऐतिहासिक तथ्यों के साथ छेड़छाड़ नहीं होनी चाहिए और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का अधिकार सर्वोच्च नहीं है।