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PM मोदी ने सिद्धगंगा मठ में शिवकुमार स्वामीजी को श्रद्धांजलि अर्पित की

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बृहस्पतिवार को यहां सिद्धगंगा मठ में शिवकुमार स्वामीजी के समाधि स्थल पर श्रद्धांजलि अर्पित की और कहा कि स्वामीजी के कार्य सभी को प्रेरित करते रहेंगे। सिद्धगंगा मठ लिंगायत समुदाय का एक प्रमुख मठ है।

तुमकुरू (कर्नाटक) : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बृहस्पतिवार को यहां सिद्धगंगा मठ में शिवकुमार स्वामीजी के समाधि स्थल पर श्रद्धांजलि अर्पित की और कहा कि स्वामीजी के कार्य सभी को प्रेरित करते रहेंगे। सिद्धगंगा मठ लिंगायत समुदाय का एक प्रमुख मठ है। 
स्वामीजी को उनके असंख्य अनुयायी ‘ईश्वरतुल्य’ मानते थे। स्वामीजी का पिछले साल 111 वर्ष की आयु में निधन हो गया था।        
प्रधानमंत्री बेंगलुरु के येलहंका एयरबेस पहुंचे और वहां से हेलीकाप्टर से सीधे तुमकुरू गए जहां मठ स्थित है। उनके साथ मुख्यमंत्री बी एस येदियुरप्पा, केंद्रीय मंत्री प्रल्हाद जोशी और पूर्व मुख्यमंत्री डी वी सदानंद गौड़ा आदि थे।
मोदी ने यहां समाधि स्थल पर श्रद्धांजलि अर्पित करने के बाद मठ परिसर में बेल पत्थर का पौधा लगाया तथा स्वामीजी को समर्पित एक संग्रहालय की आधारशिला रखी। मोदी ने उसके बाद एक सभा को संबोधित किया जिसमें अधिकतर छात्र शामिल थे। 
मोदी ने इस अवसर पर कहा कि वह स्वयं को इसके लिए धन्य महसूस कर रहे हैं कि उन्होंने 2020 की शुरुआत सिद्धगंगा की पवित्र भूमि से की लेकिन साथ ही शिवकुमार स्वामीजी की अनुपस्थिति में ‘‘खालीपन’ महसूस कर रहे हैं।         
उन्होंने कहा, ‘‘यह दुर्लभ है, देखिए स्वामीजी ने अपने जीवन काल में कितने लोगों को प्रेरित किया। मैं भाग्यशाली हूं कि मुझे स्वामीजी की स्मृति में संग्रहालय की नींव रखने का मौका मिला। इस संग्रहालय के माध्यम से उनके कार्य पीढ़ियों को प्रेरित करते रहेंगे।’’ 
प्रधानमंत्री ने साथ ही उडुपी के पेजावर मठ के विश्वेश तीर्थ स्वामीजी को भी याद किया जिनका हाल ही में निधन हो गया था। 
इस मौके पर येदियुरप्पा और मठ के वर्तमान प्रमुख सिद्धलिंगा स्वामीजी उपस्थित थे। शिवकुमार स्वामीजी अपने अनुयायियों के बीच ‘‘त्रिविद दासोई’’ के तौर पर जाने जाते थे। वह 12वीं शताब्दी के समाज सुधारक बासवन्ना के अवतार माने जाते थे क्योंकि उन्होंने सभी लोगों को स्वीकार किया, चाहे उनका धर्म या जाति कोई भी हो। 
स्वर्गीय स्वामीजी को ‘‘भारत रत्न’’ प्रदान करने को लेकर नेताओं सहित विभिन्न क्षेत्रों के लोगों की ओर से आवाज उठ रही है। 
स्वामीजी के निधन के बाद तत्कालीन मुख्यमंत्री एच डी कुमारस्वामी ने मोदी को पत्र लिखकर उनसे स्वर्गीय संत को देश का सर्वोच्च नागरिक सम्मान देने का आग्रह किया था। विपक्षी पार्टी कांग्रेस ने बृहस्पतिवार को शिवकुमार स्वामीजी को ‘‘भारत रत्न’’ नहीं देने के बारे में प्रधानमंत्री से सवाल किया। 
राज्य विधानसभा में प्रमुख विपक्षी दल ने मोदी से सवाल किया कि वह तब तुमकुरू क्यों नहीं आये थे जब सिद्धगंगा मठ के शिवकुमार स्वामीजी का निधन हुआ था। 
कांग्रेस ने एक ट्वीट करके यह भी जानना चाहा की कि संत को अभी तक भारत रत्न से सम्मानित क्यों नहीं किया गया है और उल्लेखित किया कि पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धरमैया ने जनवरी 2018 में इस संबंध में एक पत्र लिखा था। 
मठ के वर्तमान प्रमुख ने मोदी को स्मृति चिह्न के तौर पर शिवकुमार स्वामीजी की चांदी की एक मूर्ति भेंट की। 

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