प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वाधीनता दिवस पर मेक इन इंडिया के साथ ‘मेक फार वर्ल्ड’ (विश्व के लिए विनिर्माण) का नारा जोड़ते हुए भारत को आर्थिक नीतियों में सुधार और बुनियादी ढांचे के विकास के साथ विश्व आपूर्ति श्रृंखला में विनिर्माण के एक प्रमुख केंद्र के रूप में प्रस्तुत करने का संकल्प किया।
मोदी ने ऐतिहासिक लाल किले की प्राचीर से राष्ट्र को संबोधित करते हुए कहा कि भारत अपनी 130 करोड़ जनता के सामर्थ के साथ ‘मेक फार वर्ल्ड’ की दिशा में प्रगति करने का सामर्थ रखता है। उन्होंने कहा कि भारत ने प्रत्यक्ष विदेशी निवेश आकर्षित करने में रिकार्ड बनाया है। पिछले वर्ष देश में एफडीआई में 18 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की है। कोराना के इस काल खंड में भी विश्व की बड़ी -बड़ी कंपनियों ने भारत की ओर रुख किया है।
प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘ दुनिया ऐसे ही भारत की ओर आकर्षित नहीं हुई है। भारत ने अपनी अर्थव्यवस्था के प्रति विश्वास जगाया है।’’ उन्होंने इसी संदर्भ में कोराना वायरस संक्रमण से निपटने के लिए पीपीटी, वेंटिलेटर और मास्क जैसे सामानों में न केवल आत्मनिर्भरता बल्कि दुनिया के दूसरे देशों की मदद के लिए उत्पादन करने में देश की सफलता का जिक्र किया। प्रधानमंत्री ने कहा कि विश्व कल्याण के लिए भी ‘आत्मनिर्भर भारत’ जरूरी है।
साइबर सुरक्षा की एक राष्ट्रीय समन्वित नीति शीघ्र
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश के आर्थिक सामाजिक जीवन में इंटरनेट और साइबर प्रौद्योगिक के विस्तार का उल्लेख करते हुए कहा कि सरकार जल्दी ही एक समन्वित साइबर सुरक्षा नीति प्रस्तुत करेगी। प्रधानमंत्री ने स्वाधीनता दिवस पर राष्ट्र के नाम संबोधन में कहा कि इंटरनेट और सूचना प्रौद्योगिकी का उपयोग बढने के साथ देश के लिए मजबूत समन्वित साइबर सुरक्षा व्यवस्था का होना बहुत जरूरी है। उन्होंने कहा ‘‘साइबर सुरक्षा नीति का खाका जल्द आएगा।’’
उन्होंने कहा कि सरकार देश के सभी छह लाख गावों को एक हजार दिन में फाइबर आप्टिक नेटवर्क से जोड़ेगी ताकि वहां भी तेज गति की संचार सेवाएं उपलब्ध हो सकें। मोदी ने अंडमान नीकोबार द्वीप समूह की तरह लक्षद्वीप को भी समुद्री दूरसंचार केवल से जोड़ने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि इससे वहां भी तीव्र गति की इंटरनेट सेवाएं मिलने लगेंगी।