राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद पूर्व वित्त मंत्री अरुण जेटली का हालचाल जानने के लिए शुक्रवार को अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) जाएंगे, जहां जेटली का आईसीयू में इलाज चल रहा है। बता दें कि पिछले एक सप्ताह से अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) में भर्ती पूर्व वित्त मंत्री स्वास्थ्य मंत्री अरुण जेटली की सेहत में अभी कुछ खास सुधार नहीं आया है।
वह अभी भी अस्पताल की सघन चिकित्सा इकाई (आईसीयू) में भर्ती है और उनकी हालत नाजुक बनी हुई है। सूत्रों की माने तो अरुण जेटली के लंग्स में फिर से पानी भरने लगा है, जिसकी वजह से उनकी हालत एक बार फिर अधिक खराब होने लगी है। पूर्व वित्तमंत्री अरुण जेटली की सेहत पर एम्स की तरफ से पिछले छह दिनों से कोई बुलिटेन जारी नहीं किया गया है।
गौरतलब है कि 9 अगस्त यानी शुक्रवार को 66 वर्षीय अरुण जेटली को दिल की धड़कन तेज होने और बेचैनी की शिकायत के बाद एम्स के आईसीयू में भर्ती कराया गया था। चिकित्सकों ने तब कहा था कि उनकी हालत ‘हीमोडायनैमिकली’ स्थिर बनी हुई है और विभिन्न क्षेत्र के विशेषज्ञ चिकित्सकों की टीम उनके उपचार की निगरानी कर रही है। सूत्रों की माने अरुण जेटली के लंग्स में पानी आने की शिकायत आई थी, जिसकी वजह से उन्हें सांस लेने में दिक्कत हो रही है।
चिकित्सकों की टीम लंग्स से पानी निकालने का प्रयास कर रही है, लेकिन बानी बार-बार बनने की शिकायत अभी भी बरकरार है। जेटली के एम्स में भर्ती होते ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह, लोकसभा के स्पीकर ओम बिड़ला और अन्य शीर्ष भाजपा के नेता जेटली को देखने एम्स जा चुके हैं। बता दें कि स्वास्थ्य का हवाला देते हुए जेटली ने इस साल चुनाव नहीं लड़ा था।