छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने शुक्रवार को कहा कि ‘एक देश, एक चुनाव’ या लोकसभा और विधानसभाओं के चुनाव एक साथ कराने का प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का प्रस्ताव अहम मुद्दों से लोगों का ध्यान भटकाने के लिए है।
बघेल ने मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल के शुरू होने के महीने भर के अंदर इस तरह की तत्परता पर सवाल उठाया। उन्होंने यह भी कहा कि बेरोजगारी और दबे-कुचले लोगों के कल्याण जैसे विषयों को प्राथमिकता दी जानी चाहिए।
उन्होंने पीटीआई को दिए गए एक साक्षात्कार में कहा, ‘‘क्या आप लोकसभा और सभी विधानसभाओं को भंग कर रहे हैं? जब चुनाव नजदीक हो तब ‘एक देश, एक चुनाव’ पर चर्चा की जानी चाहिए।’’
मुख्यमंत्री ने कहा कि ‘एक देश, एक चुनाव’ पर चर्चा करना मुख्य मुद्दों से लोगों का ध्यान भटकाने के लिए है। उन्होंने कहा, ‘‘लोकसभा चुनाव हाल ही में संपन्न हुए हैं…और वे अब एक देश, एक चुनाव की बात कर रहे हैं। इसकी क्या जरूरत है ? क्या जल्द ही चुनाव आने वाले हैं?’’
बघेल ने राज्य में नक्सलवाद के विषय पर कहा कि नक्सली नेतृत्व के साथ वार्ता हो सकती है, बशर्ते कि वे अपने हथियार डाल दें और संविधान पर विश्वास करें।
पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी के कांग्रेस में लौटने की संभावना के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, ‘‘उनके लिए दरवाजे पहले ही बंद हो चुके हैं।’’
सीबीआई को छत्तीसगढ़ में मामलों की जांच करने से रोके जाने के विषय पर उन्होंने कहा कि राज्य में जांच करने से केंद्रीय एजेंसी को रोकने का फैसला पिछली भाजपा सरकार का था।