फ्रांस से खरीदा गया बहुप्रतिक्षीत अत्याधुनिक लड़ाकू विमान राफेल आखिरकार गुरूवार को औपचारिक रूप से वायुसेना के लड़कू विमानों के बेड़े में शामिल होगा। कार्यक्रम में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, फ्रांस के उनके समकक्ष फ्लोरेंस पार्ली, प्रमुख रक्षा अध्यक्ष (सीडीएस) जनरल बिपिन रावत, वायुसेना प्रमुख आर के एस भदौरिया और रक्षा सचिव अजय कुमार शिरकत करेंगे।
हरियाणा के अंबाला स्थित वायुसेना स्टेशन में एक शानदार समारोह में यह विमान वायुसेना के गोल्डन एरो स्कवाड्रन का हिस्सा बनेगा। अत्याधुनिक लड़कू विमानों की कमी का सामना कर रही वायुसेना के लिए इस दिन को काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा है क्योंकि क्षेत्र में शक्ति संतुलन को बदलने की ताकत रखने वाला राफेल इसी दिन उसके लड़कू विमानों के बेड़े की शान बनेगा। वायुसेना के लिए तुरूप का इक्का माने जाने वाले पांच राफेल विमानों की पहली खेप गत जुलाई में ही भारत आयी थी। वायुसेना ने 59 हजार करोड़ रूपये की लागत से फ्रांस से 36 राफेल लड़ाकू विमान खरीद का सौदा किया है। चार और विमानों की अगली खेप के अक्टूबर में आने की संभावना है।
अंबाला वायुसेना स्टेशन पर राफेल विमान का औपचारिक अनावरण पारंपरिक रूप से आयोजित सर्व धर्म पूजा के साथ किया जाएगा। इस मौके पर राफेल, स्वेदशी विमान तेजस और सारंग एयरोबेटिक टीम अपनी करतबाजी दिखायेगी। बाद में, राफेल विमान को पारंपरिक तरीके से वाटर कैनन की सलामी दी जाएगी। समारोह का समापन वायुसेना के 17वें स्क्वाड्रन में राफेल विमान को विधिवत शामिल किए जाने के साथ होगा।
इस अवसर पर फ्रांसीसी प्रतिनिधिमंडल का प्रतिनिधित्व भारत में फ्रांस के राजदूत इमैनुएल लेनिन,वायुसेना प्रमुख एरिक ऑटेलेट, फ्रांसीसी वायुसेना के उप प्रमुख और अन्य वरिष्ठ अधिकारी करेंगे। राफेल विमान बनाने वाली डसॉल्ट एविएशन के अध्यक्ष और मुख्य कार्यकारी अधिकारी एरिक ट्रैपीयर और एमबीडीए के मुख्य कार्यकारी अधिकारी एरिक बेरांगर समेत फ्रांसीसी रक्षा उद्योग के कई अधिकारियों का एक बड़ प्रतिनिधिमंडल भी वहां मौजूद रहेगा। आयोजन के बाद भारतीय और फ्रांसीसी प्रतिनिधिमंडल की द्विपक्षीय बैठक होगी।