रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह सुरक्षा स्थितियों का जायजा लेने के लिए आज जम्मू-कश्मीर के कश्मीर घाटी और सियाचिन ग्लेशियर तथा विश्व के सबसे ऊंचे युद्ध क्षेत्र लद्दाख पहुंचे। रक्षा मंत्रालय पदभार संभालने के बाद राजनाथ सिंह का यह पहला आधिकारिक दौरा है।
इस दौरान उनके साथ सेना प्रमुख जनरल बिपिन रावत, उत्तरी सेना के कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल रणबीर सिंह, 14 कॉर्प्स कमांडर और करगिल युद्ध के नायक रहे लेफ्टिनेंट जनरल वाईके जोशी भी मौजूद थे। सियाचिन में सैनिको से बातचीत करते हुए राजनाथ सिंह ने कहा, सियाचिन में हमारे सैनिक अत्यधिक परिस्थितियों और विश्वासघाती इलाकों में भी बड़े साहस और धैर्य के साथ अपना कर्तव्य निभा रहे हैं। मैं उनकी दृढ़ता और वीरता को सलाम करता हूं।
राजनाथ ने उन शहीद सैनिकों को श्रद्धांजलि अर्पित की जिन्होंने सियाचिन में सेवा करते हुए अपने प्राणों का बलिदान दिया था। उन्होंने कहा की सियाचिन ग्लेशियर का बचाव करते हुए 1100 से अधिक सैनिकों ने सर्वोच्च बलिदान दिया है। राष्ट्र हमेशा उनकी सेवा और बलिदान का ऋणी रहेगा। उल्लेखनीय है कि घाटी में इस वर्ष अब तक आतंकवादियों के शीर्ष कमांडरों समेत 100 से ज्यादा आतंकवादी मारे गये हैं और सेना के 50 जवान शहीद हुए हैं।