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दस साल तक प्रदर्शन के लिए तैयार हैं, लेकिन कृषि कानूनों को लागू नहीं होने देंगे : राकेश टिकैत

भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत ने रविवार को कहा कि पिछले दस महीने से केंद्र के कृषि कानूनों का विरोध कर रहे किसान दस वर्षों तक आंदोलन करने के लिए तैयार हैं, लेकिन ‘‘काले’’ कानूनों को लागू नहीं होने देंगे।

भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत ने रविवार को कहा कि पिछले दस महीने से केंद्र के कृषि कानूनों का विरोध कर रहे किसान दस वर्षों तक आंदोलन करने के लिए तैयार हैं, लेकिन ‘‘काले’’ कानूनों को लागू नहीं होने देंगे।
पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश सहित देश भर के हजारों किसान पिछले दस महीने से दिल्ली की सीमाओं पर धरने पर बैठे हैं और पिछले वर्ष सितंबर में लागू कृषि कानूनों को खत्म करने की मांग कर रहे हैं।
टिकैत ने पानीपत में ‘‘किसान महापंचायत’’ में कहा, ‘‘आंदोलन को दस महीने हो गए। सरकार को कान खोलकर सुनना चाहिए कि अगर हमें दस वर्षों तक आंदोलन करना पड़े तो हम तैयार हैं।’’
भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू) के नेता ने कहा कि केंद्र को इन कानूनों को वापस लेना होगा।
टिकैत ने संकेत दिए कि अगर उनकी मांग नहीं मानी जाती है तो किसान आंदोलन तेज करेंगे। उन्होंने किसानों से कहा कि ‘‘अपने ट्रैक्टर तैयार रखें, इनकी दिल्ली में कभी भी जरूरत पड़ सकती है।’’
संयुक्त किसान मोर्चा के 27 सितंबर को आहूत ‘‘भारत बंद’’ से एक दिन पहले यह महापंचायत हुई। आंदोलन के दस महीने पूरे होने पर संयुक्त किसान मोर्चा ने 27 सितंबर को भारत बंद बुलाया है।
टिकैत ने कहा कि अगर वर्तमान सरकार ने इन कानूनों को वापस नहीं लिया तो आने वाली सरकारों को इसे वापस लेना होगा।
उन्होंने कहा, ‘‘जिन लोगों को देश पर शासन करना है उन्हें इन कानूनों को वापस लेना होगा। हम इन कानूनों को लागू नहीं होने देंगे, हम अपना आंदोलन जारी रखेंगे।’’
टिकैत ने कहा कि अगर किसान दस महीने से अपने घर नहीं लौटे हैं तो दस वर्षों तक भी आंदोलन कर सकते हैं, लेकिन इन कानूनों को लागू नहीं होने देंगे।
केंद्र सरकार पर हमला करते हुए टिकैत ने कहा, ‘‘उन्होंने गलत जगह पंगा लिया है। अगर उन्हें इन किसानों के मूड के बारे में पता होता तो वे ये काले कानून नहीं लाते। ये किसान इस सरकार को झुकने के लिए बाध्य कर देंगे।’’
टिकैत ने युवा किसानों से अपील की कि इन कानूनों के विरोध में चल रहे आंदोलन को मजबूती देने में सोशल मीडिया का पूरा इस्तेमाल करें। उन्होंने कहा कि दुष्प्रचार का विरोध करने की उनके कंधों पर बड़ी जिम्मेदारी है जो आंदोलन को बदनाम करने के लिए कभी-कभी फैलाया जा रहा है।
कार्यक्रम के बाद पानीपत में संवाददाताओं से हरियाणा बीकेयू (चढ़ूनी) के प्रमुख गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने कहा कि अगर सरकार उनकी मांगों पर ध्यान नहीं देती है तो उन्हें आंदोलन तेज करना होगा। उन्होंने समाज के सभी तबकों से ‘भारत बंद’ को सफल बनाने की अपील की।

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