सुप्रीम कोर्ट ने 2002 के गुजरात दंगों पर बीबीसी डॉक्यूमेंट्री (BBC documentary) मामले की सुनवाई की। अदालत ने डॉक्यूमेंट्री पर से प्रतिबंध हटाने से इनकार कर दिया और सरकार को नोटिस जारी कर इस मामले में मूल दस्तावेज जमा करने को कहा। इसके लिए सरकार के पास तीन सप्ताह का समय है।
सुप्रीम कोर्ट 2002 के गुजरात दंगों के बारे में बीबीसी की एक डॉक्यूमेंट्री को लिंक करने पर रोक लगाने वाले एक सरकारी आदेश के खिलाफ दायर एक याचिका पर सुनवाई कर रहा है। कोर्ट ने डॉक्यूमेंट्री पर लगे प्रतिबंध को हटाने से इनकार कर दिया और सरकार को नोटिस जारी कर इस मामले में मूल दस्तावेज मांगे। मामले में अगली सुनवाई अप्रैल में होगी। सुप्रीम कोर्ट को अभी यह तय करना है कि पत्रकार एन राम, टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा और अधिवक्ता प्रशांत भूषण द्वारा दायर याचिका पर अंतरिम आदेश जारी किया जाए या नहीं।
हैदराबाद यूनिवर्सिटी में जमकर हंगामा हुआ
आपको बता दें, बीबीसी ने 2002 के गुजरात दंगों के बारे में एक वृत्तचित्र बनाया। केंद्र ने इसे प्रोपेगंडा बताते हुए डॉक्यूमेंट्री पर रोक लगा दी। डॉक्यूमेंट्री की स्क्रीनिंग को लेकर उत्तर से दक्षिण तक के विश्वविद्यालयों में वामपंथी और एबीवीपी कार्यकर्ताओं के बीच झड़प की खबरें आई हैं। डॉक्यूमेंट्री की स्क्रीनिंग को लेकर दिल्ली के जवाहर लाल नेहरू यूनिवर्सिटी, जामिया मिल्लिया इस्लामिया, दिल्ली यूनिवर्सिटी, जादवपुर यूनिवर्सिटी, हैदराबाद यूनिवर्सिटी में जमकर हंगामा हुआ।
