सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को कहा कि प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के निदेशक संजय कुमार मिश्रा की 2018 में नियुक्ति में पूर्वप्रभाव से किए गए बदलाव को चुनौती देने वाली याचिका पर 16 अप्रैल को सुनवाई होगी। इस कारण उनका कार्यकाल 2 वर्ष से बढ़कर तीन वर्ष हो गया था। न्यायमूर्ति एल. नागेश्वर राव और न्यायमूर्ति विनीत सरन की पीठ ने सोलीसीटर जनरल तुषार मेहता के हलफनामे का संज्ञान लिया कि केंद्र का जवाब तैयार है और इसे दायर किया जाएगा।
वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से हुई कार्यवाही में पीठ विधि अधिकारी की याचिका पर सहमत हो गया कि कुछ समय का वक्त दिया जाए और मामले में सुनवाई की तारीख 16 अप्रैल तय की। संक्षिप्त सुनवाई के दौरान मेहता ने कार्यकर्ता वकील प्रशांत भूषण पर प्रहार किया जो याचिकाकर्ता एनजीओ ‘कॉमन कॉज’ की तरफ से पेश हुए थे। मेहता ने कहा, ‘‘इस तरह के जन उत्साही लोगों द्वारा आपकी गरिमा का ख्याल नहीं रखा जाता है।’’
भूषण ने कहा, ‘‘उन्हें मुझे गाली देने दीजिए लेकिन हम दिखाएंगे कि किस तरह से इस संगठन (एनजीओ) ने मामले दायर किए जिनमें कई आदेश पारित हुए हैं।’’ पीठ ने मामले की सुनवाई अगले हफ्ते शुक्रवार तय की है। भारतीय राजस्व सेवा के अधिकारी मिश्रा की नियुक्ति 19 नवंबर 2018 को एक आदेश द्वारा दो वर्षों के लिए ईडी निदेशक के पद पर की गई। बाद में 13 नवंबर 2020 को ‘‘पूर्व प्रभाव’’ से केंद्र सरकार ने उनके नियुक्ति पत्र में संशोधन किया और उनके कार्यकाल को ‘दो’ वर्ष के बजाए ‘तीन’ वर्ष कर दिया गया।