उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने ‘एक देश एक चुनाव’ के विचार का समर्थन करते हुए कहा कि पूर्व उपराष्ट्रपति भैरोसिंह शेखावत ने इसे लागू करने के लिये काफी प्रयास किया था।
श्री नायडू ने आज यहां द्वितीय भैरोंसिंह शेखावत व्याख्यान माला में कहा कि शेखावत की कार्यशैली और व्यवहार की सब लोग प्रशंसा करते हैं, वह मिलनसार और गांव, गरीब और किसान के हितैषी थे।
श्री नायडू ने शेखावत के उपराष्ट्रपति बनाए जाने के दौरान हुई चर्चाओं का जिक्र करते हुए बताया कि दिल्ली में पार्टी की बैठक में शेखावत भावुक हो गए थे और उन्होंने कहा था कि ‘आप मुझे उपराष्ट्रपति बनाकर पार्टी से निकाल रहे हो। ’ श्री नायडू ने कहा कि ऐसी ही स्थिति मेरे साथ भी उपराष्ट्रपति बनाए जाने के दौरान हुई है।
कार्यक्रम में भाजपा सांसद ओम माथुर ने कहा कि उनको राजनीति का ककहरा भैरोंसिंह शेखावत से ही सीखने को मिला। राजनीति में शेखावत ने ही उन्हें अवसर दिया, जिसकी बदौलत आज वह पार्टी में यहां तक पहुंचे हैं।
विधानसभा अध्यक्ष सीपी जोशी ने कहा कि आजकल के नेता खबर को देखकर सदन में मुद्दे उठाते हैं, लेकिन एक समय था जब राजस्थान के मुख्यमंत्री भैरोंसिंह शेखावत बोलते थे तो खबरों की सुर्खियां बना करती थीं।
श्री जोशी ने कहा कि संसदीय मूल्यों को बनाये रखने में शेखावत की अहम भूमिका रही है। नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि शेखावत ने पार्टी की विचार धारा को आगे बढाने के लिए सबकुछ दांव पर लगाया। उन्होंने जागीरदारी प्रथा, सती प्रथा के खिलाफ आवाज बुलंद की थी।