सिख धर्म के 10वें गुरु गोविंद सिंह की आज जयंती है। सिख समुदाय लोग इस दिन को प्रकाश पर्व के रूप में मनाते हैं। इस मौके पर देश के राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सहित कई नेताओं ने गुरु गोविंद सिंह को नमन करते हुए लोगों को इस दिन की शुभकामनाएं दी।
राष्ट्रपति ने ट्वीट करते हुए लिखा, “गुरु गोविंद सिंह जी के प्रकाश पर्व के शुभ अवसर पर मेरी विनम्र श्रद्धांजलि। उनका जीवन मानवता के लिए प्रेरक रहा है, उन्होंने समानता और समावेशिता का प्रचार किया। वह सिर्फ एक आध्यात्मिक आदर्श नहीं थे बल्कि एक योद्धा थे जो सर्वोच्च बलिदान के सामने भी सिद्धांतों से खड़े थे।”
प्रधानमंत्री मोदी ने गुरु गोविंद सिंह नमन करते हुए ट्वीट किया। उन्होंने लिखा, ‘प्रकाश पर्व के पवित्र मौके पर मैं श्री गुरु गोविंद सिंह को नमन करता हूं। उनका जीवन न्यायसंगत और समावेशी समाज के निर्माण के लिए समर्पित था। अपने सिद्धांतों के प्रति वे सदैव अटल रहे। हम उनके साहस और बलिदान को भी याद करते हैं।’’
प्रधानमंत्री ने कहा कि गुरु गोविंद सिंह की उन पर विशेष कृपा रही है क्योंकि उनके 350वें प्रकाश पर्व को मनाने का अवसर उनके कार्यकाल में आया। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भी गुरु गोविंद सिंह के वचनों का भी स्मरण करते हुए लिखा है‘अगर आप केवल भविष्य के बारे में सोचते रहेंगे, तो वर्तमान भी खो देंगे।‘ धर्म और मानवता के सच्चे सेवक, सिखों के दसवें गुरु श्री गुरु गोबिंद सिंह के प्रकाश पर्व पर कोटिश: नमन। दीन-हीन और असमर्थों की सेवा और कल्याण ही उनके प्रति हमारी सच्ची श्रद्धांजलि होगी।
पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने भी सिखों के दसवें गुरु, खालसा पंथ के सृजनहार गुरु गोबिंद सिंह के प्रकाश पर्व पर सभी को लख-लख बधाई प्रेषित की है। उन्होंने ट्वीट के जरिए लिखा है कि गुरु गोबिंद सिंह ने धर्म व समाज की रक्षा की खातिर अपने पूरे परिवार का बलिदान दिया। उनका एकता, भाईचारे व मानवता का संदेश आज भी हमारे लिए प्रेरणादायी है।
गुरु गोविंद सिंह का जन्म पटना में आज ही के दिन हुआ था। उनकी जयंती को प्रकाश पर्व के रूप में मनाया जाता है। आज के दिन गुरुद्वारों में कीर्तन और गुरुवाणी का पाठ होता है। सिख समुदाय के लोग सुबह प्रभातफेरी निकालते हैं और लंगर का आयोजन किया जाता है। गुरुद्वारों में सेवा की जाती है। गुरुद्वारों के आस-पास खालसा पंथ की झांकियां निकाली जाती हैं।