केंद्रीय नागर विमानन मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा है कि रिजर्व बैंक द्वारा ऋण की किस्त के भुगतान से राहत की अवधि बढ़ाने से विमानन क्षेत्र की कंपनियों मसलन हवाईअड्डों, एयरलाइंस और जमीनी कार्य करने वाली कंपनियों को लाभ होगा। इन कंपनियों के पास नकदी प्रवाह बढ़ सकेगा। भारतीय रिजर्व बैंक ने कोविड-19 संकट के मद्देनजर कर्जदारों को ऋण की किस्त का भुगतान और तीन महीने तक नहीं करने की छूट दी है। अब भुगतान छूट की सीमा को बढ़ाकर 31 अगस्त, 2020 कर दिया गया है।
कोरोना वायरस की वजह से लागू राष्ट्रव्यापी बंद से विमानन क्षेत्र बुरी तरह प्रभावित हुआ है। इसके चलते उड़ानें बंद हैं। लगभग सभी एयरलाइंस कंपनियों ने या तो अपने कर्मचारियों को बाहर का रास्ता दिखाया है, या उनके वेतन में कटौती की है। इसके अलावा कर्मचारियों को बिना वेतन अवकाश पर भी भेजा गया है।
पुरी ने ट्वीट किया कि रिजर्व बैंक ने बैंकों को ऋण के भुगतान पर रोक को एक जून से 31 अगस्त तक तीन महीने और बढ़ाने की अनुमति दी है। इससे नागर विमानन क्षेत्र के अंशधारकों को काफी राहत मिलेगी। उन्होंने कहा कि इन घोषणाओं से विमानन क्षेत्र की कंपनियों मसलन हवाईअड्डों, एयरलाइंस, ढुलाई ऑपरेटरों, ग्राउंड हैंडलिंग कंपनियों, रखरखाव, मरम्मत और ओवरहॉल (एमआरओ) सेवा प्रदाताओं को राहत मिलेगी।
कोरोना वायरस पर रोकथाम के लिए देश में 25 मार्च से लॉकडाउन लागू है। उसी दिन से सभी वाणिज्यिक उड़ानों का परिचालन बंद है। इससे पहले इसी सप्ताह पुरी ने कहा था कि घरेलू यात्री उड़ानें 25 मई से धीरे-धीरे शुरू की जाएंगी। रिजर्व बैंक ने शुक्रवार को प्रमुख नीतिगत दरों में कटौती कर इसे वर्ष 2000 के बाद सबसे निचले स्तर पर ला दिया है। इसके अलावा ऋण की किस्त का भुगतान नहीं करने की छूट भी तीन महीने और बढ़ा दी है।