सुप्रीम कोर्ट ने उन्नाव रेप मामले में सुनवाई करते हुए पीड़िता के चाचा को तुरंत रायबरेली जेल से तिहाड़ जेल ट्रांसफर करने का आदेश दिया है। साथ ही पीड़िता को दिल्ली में इलाज की स्थानांतरित करने को लेकर कोर्ट ने कहा, पीड़िता का परिवार इस फैसले को लेकर स्वतंत्र है। चीफ जस्टिस रंजन गोगोई ने मीडिया को आदेश दिया है कि वह उन्नाव रेप पीड़िता की पहचान को सामने ना लाएं।
कोर्ट ने सुरक्षा कारणों को लेकर पीड़िता की चाचा को दिल्ली तिहाड़ में ट्रांसफर करने का फैसला किया है। सॉलिसिटर जनरल ने कहा, ‘पीड़िता के परिवार को उसे स्थानांतरित करने के बारे में किया था और उन्होंने कहा कि पीड़िता पूरी तरह से बेहोश है और उसे लखनऊ के अस्पताल में रहने दे। पीड़िता की परिवार के लिए वकील ने कहा कि वह एक बार स्थिर होने पर स्थानांतरित हो सकती हैं।’
गौरतलब है की गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में सुनवाई करते हुए इस मामले से जुड़े हुए सभी केस दिल्ली में ट्रांसफर करने का आदेश दिया था। कोर्ट ने दुष्कर्म मामले की सुनवाई 45 दिन में पूरी करने को कहा ताकि पीड़िता को जल्द न्याय मिल सके।
रायबरेली सड़क हादसे में घायल हुई रेप पीड़िता और वकील की हालत अभी तक नाजुक है। पीड़िता को अभी तक होश नहीं आया है। वह अभी भी ICU में भर्ती है।