अयोध्या में भव्य राम मंदिर के भूमिपूजन को लेकर तैयारी जारी है। वहीं दूसरी तरफ इसको लेकर राजनीति अभी अपने चरम पर है। विपक्ष प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के भूमिपूजन कार्यक्रम में शामिल होने को लेकर लगातार सवाल खड़े कर रहा है। विश्व हिंदू परिषद (विहिप) राम मंदिर और उससे जुड़े विषयों का विरोध करने वालों पर राजनीतिक लक्ष्यों को हासिल करने का आरोप लगाया है।
विहिप के महासचिव मिलिंद परांदे ने गुरुवार को कहा कि कुछ लोगों ने राम मंदिर से संबंधित किसी भी विषय का विरोध करना अपना व्यवसाय बना लिया है। हर किसी को समझना चाहिए कि राम मंदिर राष्ट्रीय गौरव का प्रतीक है। कुछ लोग इसका विरोध कर रहे हैं। यह उनकी राजनीति का हिस्सा है और उनकी राजनीति केवल हिंदुओं के हितों का विरोध करके होती है।
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ऐसे सभी लोगों के पास विरोध करने के अलावा और कोई विकल्प नहीं है’’। उन्होंने कहा कि राम मंदिर देश में सांप्रदायिक सद्भाव का केंद्र बनेगा। श्री राम जन्मभूमि तीर्थक्षेत्र न्यास के सदस्यों के अनुसार राम मंदिर का निर्माण शुरू करने के वास्ते भूमि पूजन के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पांच अगस्त को अयोध्या का दौरा करने की उम्मीद है।