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‘… जाके कछु नहीं चाहिए, वे शाहन के शाह’, दिग्विजय सिंह के इस tweet के क्या हैं मायने?

कांग्रेस अध्यक्ष पद का चुनाव लगातार दिलचस्प होते जा रहा है। कांग्रेस के दिग्गज नेता इस चुनाव में अपनी किस्मत आजमाना चाहते है

कांग्रेस अध्यक्ष पद का चुनाव लगातार दिलचस्प होते जा रहा है। कांग्रेस के दिग्गज नेता इस चुनाव में अपनी किस्मत आजमाना चाहते है। गहलोत ने खुद को इस चुनाव से अलग कर लिया, जबकि दिग्विजय सिंह नामांकन दाखिल करने वाले थे उससे ठीक पहले उन्होंने चुनाव लड़ने से मना कर दिया। क्योंकि मल्लिकार्जुन खड़गे चुनाव लड़ रहे थे। 
दिग्विजय सिंह ने किया ट्वीट 
वही, अब लोग जानना चाहते है कि आखिर सिंह ने चुनाव क्यों नहीं लड़ा। इसके पीछे की वजह क्या हो सकती है तो बता दें, दिग्विजय सिंह ने आज अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर एक ट्वीट किया है, जिसे अध्यक्ष पद चुनाव से जोड़कर देखा जा रहा है। दिग्विजय सिंह ने ट्वीट कर लिखा, ” चाह गई चिंता मिटी, मनुआ बे परवाह, जाके कछु नहीं चाहिए, वे शाहन के शाह। ” 
दिग्विजय सिंह को नहीं चुनाव लड़ने का अफ़सोस 
इस ट्वीट का मतलब होता है कि जिन्हे किसी चीज की लालसा नहीं होती है वो राजाओं के राजा होते है। क्योंकि उन्हें किसी चीज की परवाह नहीं होती है। अब लोग सिंह के इस ट्वीट का यह अर्थ निकाल रहे कि उन्हें चुनाव ना लड़ने का कोई अफ़सोस नहीं है। वो काफी खुश है। उन्हें किसी बात की चिंता नहीं है। 
खड़गे के सामने नहीं लडूंगा चुनाव : दिग्विजय सिंह 
हम आपको बता दें, दिग्विजय सिंह गांधी परिवार के काफी करीबी माने जाते है। उन्होंने नामांकन दाखिल करने की तैयारी कर ली थी, लेकिन खड़गे चुनाव लड़ रहे है। ये जानकर उन्होंने नाम वापस ले लिया।  मीडिया से दिग्विजय ने कहा, ‘मुझे मीडिया से पता चला कि खड़गे चुनाव लड़ेंगे। फिर मैंने उनसे मुलाकात की और अपना नाम वापस ले लिया, क्योंकि मैं उनके सामने चुनाव नहीं लड़ सकता हूं। वो हमारे बड़े और वरिष्ठ नेता है। मैं उनके साथ हूं। ‘

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