हरिद्वार, संजय चौहान (पंजाब केसरी) : हरिद्वार में मोनी अमावस्या बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंचे। हरकी पैड़ी समेत कई गंगा घाटों पर सुबह से ही श्रद्धालुओं की भारी भीड़ देखने की मिली। माघ महीने की अमावस्या को मौनी अमावस्या कहा जाता है। इस दिन मौन व्रत धारण कर गंगा स्नान करने और दान का विशेष महत्व माना जाता है। दो दशकों के बाद शनिवार के दिन मोनी अमावस्या पड़ी है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार शनिवार को पड़ने वाली अमावस्या का महत्व कई गुना ज्यादा बढ़ जाता है। ऐसा कहा जाता है की इस दिन गंगा में स्नान करने और दान पुण्य करने से कई यज्ञ के बराबर पुण्य की प्राप्ति होती है।
मौनी अमावस्या पर लाखों श्रद्धालुओं ने किया स्नान और मां गंगा में डुबकी लगाकर पुण्य के भागी बने। मौनी अमावस्या पर गंगा में आस्था की डुबकी लगाने के लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंचे। हरकी पैड़ी समेत अन्य घाटों पर श्रद्धालुओं की भीड़ नजर आई। हजारों श्रद्धालुओं ने गंगा स्नान कर पुण्य अर्जित किया। गंगा स्नान के बाद विधि-विधान से पूजा-अर्चना कर श्रद्धालुओं ने जरूरतमंदों को दान दिया। इसके साथ ही मंदिरों में जाकर आशीर्वाद लिया।इस अवसर पर हरिद्वार पुलिस के जवान लगातार घाटों पर सक्रिय रहे और परिजन से बिछड़े कई बच्चों को सकुशल उनके परिजनों से वापस मिलाया गया। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार माघ की अमावस्या को मौनी अमावस्या कहा जाता है। इस दिन मौन रहकर गंगा में स्नान और उसके बाद दान करने का बड़ा महत्व माना जाता है। इसके अलावा इस दिन किया दान सौ गुना फलदायी होता है।धर्मनगरी में मौनी अमावस्या के अवसर पर हरकी पैड़ी समेत अन्य गंगा घाटों पर स्नान के लिए सूर्योदय से पहले ही श्रद्धालुओं की भीड़ रही। बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने पावन गंगा में डुबकी लगाई। गंगा स्नान से पहले श्रद्धालुओं ने संकल्प लिया, फिर गंगा में डुबकी लगाकर सूर्य को अर्घ्य दिया। हरकी पैड़ी समेत अन्य गंगा घाटों, मालवीय दीप, घंटाघर, सुभाष घाट, शिवघाट, अस्थि प्रवाह घाट पर श्रद्धालुओं की भारी संख्या रही। श्रद्धालुओं ने गंगा स्नान करने के बाद दान पुण्य किया। इसके साथ ही लोगों को भोजन भी कराया। बाजारों में मौनी अमावस्या के अवसर पर काफी श्रद्धालुओं ने खरीदारी की। गुनगुनी धूप ने काफी राहत दी। घाटों पर पुलिसकर्मी श्रद्धालुओं से मास्क लगाने की अपील करते हुए नजर आए। इसके साथ ही सुरक्षा के दृष्टिगत कई जगहों पर पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई थी। स्नान करने के बाद श्रद्धालु, मां मनसा देवी मंदिर व चंडी देवी मंदिर भी पहुंचे और दर्शन किए।