उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अंकिता भंडारी हत्याकांड के दोषियों को जल्द से जल्द सजा दिलाने के लिए त्वरित अदालत गठित करने का मंगलवार को अनुरोध किया।
इस बीच मामले की जांच के लिए गठित विशेष जांच दल (एसआइटी) ने अपराध में कथित रूप से प्रयुक्त हुआ स्कूटर और मोटर साइकिल बरामद कर ली।
यहां मुख्यमंत्री कार्यालय के एक ट्वीट में धामी के हवाले से कहा गया, ‘‘हमारी सरकार ने माननीय न्यायालय से अपराधियों को जल्द से जल्द सजा मिले, इस हेतु त्वरित अदालत गठित करने का निवेदन किया है।’’
पौड़ी के एक रिजॉर्ट में बतौर रिसेप्शनिस्ट काम करने वाली 19 वर्षीय अंकिता की हत्या से प्रदेश के लोगों में पैदा हुए गुस्से के बीच, मुख्यमंत्री ने एक बार फिर कहा कि बेटियों की सुरक्षा की जिम्मेदारी उनकी सरकार की है और इसलिए पिछले दिनों हुई ‘‘दुखद घटना में सरकार ने कड़ी कार्रवाई की है।’’
उन्होंने कहा कि सरकार ने आरोपियों की तुरंत गिरफ्तारी कर उनके द्वारा किए गए अवैध निर्माणों का ध्वस्तीकरण भी किया है ।
धामी ने कहा, ‘‘बेटी अंकिता को न्याय दिलाने हेतु हमने उप महानिरीक्षक स्तर के अधिकारी के नेतृत्व में एसआईटी का गठन किया है। एसआईटी हर पहलू की जांच करके सभी अपराधियों को कठोरतम सजा दिलवाने का कार्य करेगी।’’
इस बीच, उप महानिरीक्षक पी रेणुका देवी की अगुवाई वाले एसआईटी ने स्लेटी रंग की स्कूटी तथा काले रंग की मोटरसाइकिल बरामद की। माना जा रहा है कि आरोपियों ने इन वाहनों का इस्तेमाल अंकिता को ऋषिकेश के निकट चीला नहर तक ले जाने के लिए किया था।
यहां जारी एक प्रेस विज्ञप्ति के अनुसार, एसआईटी ने रिजॉर्ट में पूर्व में कार्य कर चुके एक दंपति एवं अन्य संबंधित लोगों को भी पूछताछ के लिए बुलाया है ।
एसआईटी ने घटना के दिन रिजॉर्ट में ठहरने वाले अतिथियों की सूची प्राप्त करने सहित कई साक्ष्य एकत्र कर लिए गए हैं और सीसीटीवी फुटेज, मोबाइल एवं सीडीआर जैसे इलेक्ट्रॉनिक साक्ष्यों का विश्लेषण एवं अध्ययन किया जा रहा है।
आरोप है कि पौड़ी जिले के यमकेश्वर में गंगा भोगपुर के वनंत्रा रिजॉर्ट में कार्यरत अंकिता की रिजॉर्ट संचालक पुलकित आर्य ने अपने दो कर्मचारियों- प्रबंधक सौरभ भास्कर और सहायक प्रबंधक अंकित गुप्ता के साथ मिलकर ऋषिकेश के निकट चीला नहर में धकेलकर हत्या कर दी थी।
मुख्य आरोपी पुलकित पूर्व मंत्री विनोद आर्य का पुत्र है। विनोद को इस घटना के सामने आने के बाद भाजपा ने पार्टी से निष्कासित कर दिया था।
इस बीच, अंकिता की गुमशुदगी के संबंध में प्राथमिकी दर्ज न करने तथा मामले की सूचना उच्चाधिकारियों को दिए बिना छुट्टी पर चले जाने के आरोप में यमकेश्वर के गंगा भोगपुर के पटवारी वैभव प्रताप सिंह को मंगलवार को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया ।