कर्नाटक विधानसभा चुनाव के नतीजे आने के बाद कर्नाटक की राजनीति में भूचाल आ चुका है। क्योंकी लंबे समय से हार रही है कांग्रेस ने यहां पूर्ण बहुमत की सरकार बना ली है।शानदार जीत के साथ वापसी करते हुए कांग्रेस ने बीजेपी को दक्षिण भारत में सत्ता से बाहर कर दिया है बीजेपी की हार के बाद कर्नाटक के सीएम बसवराज ने इस्तिफा दे दिया है।बीजेपी की हार के बाद राज्यपाल थावरचंद गहलोत को अपना इस्तीफा सौंप दिया है।
राज्यपाल से मुलाकात के बाद दिया इस्तीफा
राज्यपाल से मुलाकात के बाद बोम्मई ने कहा कि राज्यपाल ने इस्तीफा स्वीकार कर लिया है। हम लोगों के फैसले को सम्मानपूर्वक स्वीकार करते हैं। उन्होंने कहा कि इस बार 36 फीसदी से ज्यादा वोट मिलने के बावजूद हमें कम सीटें मिली हैं। विश्लेषण किया जा रहा है लेकिन हार तो हार है। पार्टी में हम नतीजों का विस्तृत विश्लेषण करेंगे और जहां जरूरत होगे उसमें सुधार करेंगे।
बसवराज बोम्मई ने हार स्वीकार की
बता दें बसवराज बोम्मई ने हार स्वीकार करते हुए कहा कि बीजेपी प्रधानमंत्री और पार्टी कार्यकर्ताओं समेत सभी के प्रयासों के बावजूद इस चुनाव में अपनी छाप छोड़ने में विफल रही है। हार की जिम्मेदारी मेरी है। बोम्मई से जब पूछा गया कि क्या मोदी या शाह का जादू इस चुनाव में नहीं चला तो उन्होंने कहा कि इस बारे में नतीजों के विश्लेषण के बाद ही कुछ कहा जा सकता है। बोम्मई ने हालांकि कहा कि कांग्रेस की अधिक संगठित चुनावी रणनीति उसकी जीत के कारणों में से एक बड़ी वजह हो सकती है।
10 साल बाद कांग्रेस ने की वापसी
वहीं कांग्रेस की सरकार बनने का बाद सीएम पद को लेकर लड़ाई शुरु हो चुकी है। सिद्धरमैया और शिवकुमार दोनों को मुख्यमंत्री पद की दौड़ में माना जा रहा है। कांग्रेस ने कर्नाटक में 10 साल बाद अपने बल पर सत्ता में वापसी की है। माना जा रहा है कि सिद्धरमैया 2013 से 2018 तक राज्य के मुख्यमंत्री का पद संभाल चुके हैं इसलिए उन्हे सीएम बनाया जा सकता है। कर्नाटक के कांग्रेस प्रभारी रणदीप सिंह सुरजेवाला के मुताबिक, कांग्रेस विधायक दल की पहली बैठक रविवार को शाम करीब साढ़े पांच बजे होगी। इसके बाद सीएम के चेहरे का एलान होगा।