देहरादून : उत्तराखंड के कई हिस्सों में गुरुवार को भारी बारिश हुई जिससे पिछले कई दिनों से उमस भरी गर्मी से परेशान लोगों को काफी राहत मिली। यहां मौसम केंद्र से मिली जानकारी के अनुसार, देहरादून जिले के कालसी में सर्वाधिक 95 मिमी बारिश हुई जबकि देवप्रयाग में 69.5 मिमी, घनसाली में 64 मिमी, देहरादून में 48.3 मिमी वर्षा दर्ज की गयी। उत्तराखंड में मानसून की भारी बारिश ने लोगों को उमस से राहत तो दी, लेकिन कई स्थानों पर जलभराव से सड़कें पानी-पानी हो गई।
वहीं, रुद्रप्रयाग जनपद में पहाड़ी से भूस्खलन होने के कारण सारी चलसील गांव मलबे से अट गया। इस दौरान खेत और सड़क बह गई। हालांकि, चारधाम यात्रा मार्ग सुचारु हैं। चमोली जिले के गोचर से सटे रुद्रप्रयाग जिले के सारी गांव में मूसलाधार बारिश के चलते पहाड़ी से भूस्खलन हुआ। इस दौरान मलबे से गांव के खेत अट गए। साथ ही गांव की पेयजल लाइन भी ध्वस्त हो गई। यहीं नहीं गांव की करीब तीस मीटर सड़क भी बह गई। ग्रामीणों के अनुसार गांव के ऊपर जंगल में काफी नुकसान हुआ है। घटना में कोई जनहानी या पशुहानि नहीं हुई है। मलबा आते ही ग्रामीण घरों से निकलकर सुरक्षित स्थानों की तरफ भाग गए। सूचना पर जिला प्रशासन की टीम मौके के लिए रवाना हो गई है।
जिला आपदा कंट्रोल अधिकारी हरीश चंद्र के अनुसार यह अतिवृष्टि की घटना है। कुमाऊं में भी नैनीताल में हल्की बूंदाबांदी हुई, वहीं बागेश्वर में झमाझम बारिश से सरयू नदी का जलस्तर भी बढ़ने की सूचना है। सुबह हुई झमाझम बारिश से गरुड़-कौसानी मोटर मार्ग कई स्थानों पर मलबा आने से बंद हो गया। इसके अलावा अन्य मार्गों पर भी भारी मात्रा में मलबा आया है। हालांकि आपदा कंट्रोल रूम सक्रिय हो गया है। सड़कों को खोलने के लिए जेसीबी मशीनें लगा दी गईं हैं।
कई दिनों के बाद गुरुवार की सुबह बागेश्वर और गरुड़ में झमाझम बारिश हुई। इससे राष्ट्रीय राजमार्ग गरुड़-कौसानी द्यांगण के पास भारी मात्रा में मलबा आने से बंद हो गया है। इसके अलावा बहुली गदेरे (बरसाती नाला) से भी भारी मात्रा में सड़क पर मलबा आ गया है। गरुड़ चैखुटिया मोटर मार्ग पर एक और तीन किलोमीटर, बागेश्वर-बैजनाथ मोटर मार्ग पर 19 किलोमीटर के साथ ही गोगिना मोटर मार्ग आवगमन के लिए बंद हो गए हैं। आपदा कंट्रोल रूम से मिली जानकारी के अनुसार बागेश्वर में 42 एमएम, गरुड़ में 35 एमएम और कपकोट में आठ एमएम बारिश रिकार्ड की गई है।
– सुनील तलवाड़