केरल में निपाह वायरस फैलने के बीच एक हैरान करने वाली खबर सामने आई है। केरल की स्वास्थ्य मंत्री वीणा जॉर्ज ने बुधवार को कहा कि राष्ट्रीय विषाणु विज्ञान संस्थान (एनआईवी) द्वारा चमगादड़ों की दो प्रजातियों के नमूनों में निपाह वायरस के एंटीबॉडी पाए गए हैं। इससे उन आशंका को बल मिला है जिसके अनुसार यह घातक बीमारी चमगादड़ों के माध्यम से फैली। मंत्री ने संवाददाताओं से कहा कि एनआईवी पुणे ने कोझिकोड से चमगादड़ों की विभिन्न प्रजातियों के नमूने एकत्र किये थे जहां इस साल निपाह संक्रमण का एक मामला सामने आया था। उक्त मामले में 12 साल का एक बच्चा संक्रमित था और पांच सितंबर को उसकी मौत हो गई थी।
उन्होंने कहा कि स्तनपायी जीव की दो प्रजातियों की जांच में पता चला कि उनमें निपाह के विरुद्ध काम करने वाले ‘आईजी’ एंटीबॉडी मौजूद हैं। मंत्री ने कहा कि बाकी नमूनों की जांच भी प्रयोगशाला में की गई और उसके नतीजे जल्दी ही उपलब्ध होंगे। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि स्वास्थ्य विभाग 4 सितंबर से हाई अलर्ट पर था, जब 12 साल का बच्चा निपाह वायरस से संक्रमित पाया गया था। उनके घर से तीन किलोमीटर के दायरे को घेर लिया गया और घर-घर जाकर निगरानी की गई और नमूनों की जांच की गई।
बता दें कि निपाह वायरस का पहला मामला केरल के कोझीकोड जिले में 19 मई 2018 का सामने आया था। 1 जून, 2018 तक 17 मौतें और 18 मामलों की पुष्टि हुई थी। इसके बाद, जून 2019 में, कोच्चि से निपाह का एक नया मामला सामने आया और एकमात्र मरीज 23 वर्षीय छात्र था, जो बाद में ठीक हो गया।