हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि कश्मीरी पंडितों पर कश्मीर घाटी में हुए जुल्म के वह खुद चश्मदीद गवाह रहे हैं, जब वह चार वर्ष तक जम्मू-कश्मीर में संगठन के लिए काम कर रहे थे।
कश्मीरी पंडितों के घाटी से पलायन की घटना पर बनी फ़ल्मि‘ द कश्मीर फाइल्स के संदर्भ में श्री ठाकुर ने गुरुवार को अपने एक बयान में कहा कि यह तथ्यों पर आधारित फ़ल्मि है, जो कश्मीरी पंडितों का दुख-दर्द बता रही है। उन्होंने कहा कि उन्होंने खुद देखा था कि कश्मीरी पंडितों की कश्मीर में हत्याएं हो रही थीं। त्र्यादतियों के कारण उन्हें रातों रात अपनी करोड़ की संपत्ति छोड़कर भागना पड़ और वे फुटपाथ पर आ गए। यह बेहद पीड़दायक दौर था।
उन्होंने कहा कि यह कल्पना नहीं कि जा सकती कि अपने ही देश में किसी नागरिक को घर बार छोड़ कर शरणार्थी की तरह रहना पड़।
श्री ठाकुर ने कहा कि हालांकि उन्होंने अभी तक फिल्म नहीं देखी है, लेकिन जितना इस फिल्म की भावनाओं को अभी तक जाना और समझा है, उसके मुताबिक लोगों को मालूम होगा कि कश्मीरी पंडितों के ऊपर क्या कुछ गुत्ररी थी। उन्होंने कहा कि जब यह फिल्म बन रही थी, उस दौरान अभिनेता अनुपम खेर से उन्होंने शिमला में चर्चा की थी।उन्होंने‘द कश्मीर फाइल्स’फिल्म देखने की अपील करते हुए कहा कि लोगों को यह फ़ल्मि देखनी चाहिए ताकि आने वाले समय में देश में इस तरह की घटना फिर न घट सके।।उल्लेखनीय है कि हिमाचल प्रदेश उन राज्यों में शामिल है जहां सरकार ने इस फिल्म को कर मुक्त घोषित कर दिया है।