मध्यप्रदेश में नागरिकों के बीच अत्यंत लोकप्रिय रही मुख्यमंत्री तीर्थ दर्शन योजना एक बार फिर शुरु होगी। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की महत्वाकांक्षी योजनाओं में से एक रही ये योजना कोरोना काल में बंद थी।
जानकारी के अनुसार इस योजना को अप्रैल माह में पुन: शुरू किया जाएगा। अप्रैल माह में दो से तीन ट्रेन भेजने का निर्णय किया गया है। योजना गंगा स्नान, काशी कारीडोर, संत रविदास और कबीरदास के स्थलों के दर्शन के साथ शुरू होगी। पुन: शुरू होने वाली तीर्थ दर्शन यात्रा में मुख्यमंत्री सहित अन्य मंत्री भी ट्रेन में तीर्थ यात्रियों के साथ जायेंगे। इस योजना में बोगी में स्पीकर सिस्टम के माध्यम से तीर्थ स्थलों की विस्तृत जानकारी दी जाएगी।
प्रजेंटेशन में लिया गया ये निर्णय
पचमढ़ में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और उनका मंत्रिमंडल आज से दो दिनों तक‘आत्मनिर्भर मध्यप्रदेश’की परिकल्पना को साकार करने और जनकल्याण से जुड़ विभिन्न योजनाओं पर गहन विचार विमर्श कर रहा है। इसी बैठक में पहले प्रजेंटेशन में ये निर्णय लिया गया। इस प्रजेंटेशन की समिति में मंत्री उषा ठाकुर, गोविंद राजपूत और मोहन यादव शामिल रहे। सुश्री ठाकुर ने ये प्रजेंटेशन प्रस्तुत किया।
विचार विमर्श कर किया गया तीर्थ दर्शन यात्रा का सृजन
प्रजेंटेशन के बीच मुख्यमंत्री श्री चौहान ने योजना शुरू करने के पीछे का विचार साझा करते हुए कहा कि एक सभा में एक बुजुर्ग ने कहा कि शिवराज शासन की कई योजनाओं का लाभ तो मिल जाता है, बस इस उम, में एक बार चार धाम की यात्रा का प्रबंध कर दो। बुजुर्ग के इस अनुरोध के बाद विचार आया कि सरकार को प्रदेश के बुजुर्गों को तीर्थ यात्रा पर भेजने की योजना बनाना चाहिए। विचार विमर्श कर तीर्थ दर्शन यात्रा का सृजन किया गया।
कुछ तीर्थ स्थलों को वायु मार्ग से भेजने पर विचार करेगी
पहले प्रजेंटेशन में मंत्री नरोत्तम मिश्रा, विश्वास सारंग, विजय शाह, यशोधरा राजे, मोहन यादव, राजवर्धन सिंह, तुलसी सिलावट, कमल पटेल ने कई सुझाव दिए। तीर्थ दर्शन यात्रा के कुछ स्थलों को हवाई तीर्थ दर्शन यात्रा से भी जोड़ जाएगा। सरकार कुछ तीर्थ स्थलों को वायु मार्ग से भेजने पर विचार करेगी।