देश में कोरोना वायरस के नए वेरिएंट के मरीज मिलने के बाद से खतरे को देखते हुए महाराष्ट्र में औरंगाबाद जिला कलेक्टर एवं जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के अध्यक्ष सुनील चव्हाण ने कहा है कि ओमीक्रॉन वैरिएंट से बचाव के लिए पात्र नागरिकों को 15 दिसम्बर से पहले वैक्सीन के दूसरी डोज ले लेनी चाहिए अन्यथा वे दंड के पात्र होंगे। आधिकारिक जानकारी के मुताबिक जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण समिति की बैठक में इस आशय के निर्णय लिये गये।
टीका न लेने वालों का होना चाहिए हर सप्ताह कोविड परीक्षण
चव्हाण ने कहा, ओमीक्रॉन को रोकने के लिए टीकाकरण प्रभावी उपाय है। जिले के नागरिक जो वैक्सीन के दूसरे डोज लेने के लिए पात्र है, लेकिन अभी तक इसे नहीं ली हैं वे 15 दिसंबर तक दूसरा डोज ले लें अन्यथा उन्हें दंडित किया जायेगा। उन्होंने कहा कि, कॉलेज और निजी कक्षाओं में जिन शिक्षकों को दोनों कोविड टीके लगाए गए हैं, उनका महीने में एक बार परीक्षण किया जाना चाहिए और जिन शिक्षकों का टीकाकरण नहीं हुआ है, उनका हर सप्ताह कोविड परीक्षण के लिए परीक्षण किया जाना चाहिए।
राज्य में पहले भी रहे हैं कई कोरोना मामले
जिला कलेक्टर ने कहा है कि, सरकार के निर्देशानुसार कोरोना संक्रमण से मृतकों के उत्तराधिकारियों को वित्तीय सहायता प्रदान करने के लिए तत्काल कार्रवाई की जानी चाहिए। बैठक में कोविड-19 की स्थिति और इससे निपटने के लिए उपायों से संबंधित कई निर्णय लिए गये। गौरतलब है कि, राज्य महाराष्ट्र में कोरोना के मालमें काफी ज्यादा देखे गए थे। अब कोरोना का नया वेरिएंट न फैल उसे देखते हुए सरकार ने यह कदम उठा रही है।