चेन्नई : रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण ने नोटबंदी की आलोचना करने वाले पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह पर आज निशाना साधा। उन्होंने कटाक्ष करते हुए कहा कि जब उनके राज में संगठित लूट हो रही थी तो वह नजर फेर कर बैठे थे। नोटबंदी को संगठित लूट और वैधानिक डाका बताये जाने को लेकर सिंह की आलोचना करते हुए सीतारमण ने उनके द्वारा इस कदम के खिलाफ इस तरह के कड़ शब्दों का प्रयोग करने पर अफसोस प्रकट किया। उन्होंने कहा कि इस कदम का उद्देश्य अर्थव्यवस्था को मजबूत करना था और इससे किसी को कोई निजी फायदा पहुंचाना नहीं था।
सीतारमण ने यहां तमिलनाडु भाजपा इकाई के मुख्यालय कमल आलयम में पत्रकारों से कहा, असल में संगठित लूट और वैधानिक डाका उस समय डाला गया था जब वह प्रधानमंत्री थे। 2जी स्पेक्ट्रम और अदालतों में इससे संबंधित मामलों समेत घोटालों का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि वास्तव में ये सब मनमोहन सिंह के शासनकाल के दौरान हुआ था, उन्होंने इस संबंध में बात नहीं की और ऐसा दिखाई देता है जैसे कि वह कहीं नजरें फेर के बैठे थे।
काला धन विरोधी दिवस पर भाजपा की तमिलनाडु इकाई के कार्यक्रमों में भाग लेने आई सीतारमण ने कहा कि सिंह ने उच्चतम न्यायालय के निर्देश के बावजूद काला धन की जांच के लिए विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन नहीं किया था। उन्होंने कहा कि केद्र की सथा में आने के बाद भाजपा सरकार ने सबसे पहला कदम उठाते हुए एसआईटी का गठन किया था। उन्होंने कहा, डा मनमोहन सिंह वैधानिक डाका कहां डाला गया था। मैं बहुत निराश हूं।