राजनीतिक दलों ने निर्वाचन आयोग के इस फैसले का स्वागत किया है कि आगामी विधानसभा चुनाव में ऐसे लोग भी वोट डाल सकते हैं जिनका नाम राष्ट्रीय नागरिक पंजी में नहीं है, लेकिन उनका नाम मतदाता सूची में दर्ज है ।
निर्वाचन आयोग द्वारा इस बारे में स्थिति स्पष्ट किए जाने के एक दिन बाद आज सत्तारूढ़ भाजपा ने कहा कि ऐसे लोगों का मताधिकार बरकरार रखना होगा। वहीं, कांग्रेस तथा एआईयूडीएफ ने आयोग के इस निर्णय का स्वागत किया है।
राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) में राज्य में 3.29 करोड़ आवेदकों में से 19 लाख से अधिक लोगों के नाम बाहर हो गए थे। हालांकि भारत के महापंजीयक ने इसे अब तक अधिसूचित नहीं किया है।
मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा ने केंद्रीय गृह मंत्रालय के आदेश का हवाला देते हुए कल यहां कहा था कि जिन लोगों का नाम एनआरसी में नहीं है, लेकिन मतदाता सूची में है तो वे विधानसभा चुनाव में वोट डाल सकते हैं।
भाजपा की असम इकाई के अध्यक्ष रंजीत दास ने पीटीआई-भाषा से कहा कि ऐसे लोगों के मताधिकार की यथास्थिति बरकरार रखनी होगी।
वहीं, प्रदेश कांग्रेस की प्रवक्ता बबीता शर्मा ने कहा कि निर्वाचन आयोग ने ऐसे लोगों को मतदान की अनुमति देकर सही कदम उठाया है।
विधानसभा चुनाव के लिए कांग्रेस के गठबंधन सहयोगी एआईयूडीएफ ने भी निर्वाचन आयोग के फैसले का स्वागत किया है।
उल्लेखनीय है कि राज्य में मार्च-अप्रैल में विधानसभा चुनाव होना है।