केरल में बीजेपी कार्यकर्ताओं ने पार्टी के महासचिव सुरेंद्रन की गिरफ्तारी के विरोध में रविवार को राजमार्गों को अवरुद्ध कर दिया। सुरेंद्रन को शनिवार को भगवान अयप्पा मंदिर के रास्ते में हिरासत में ले लिया गया था। महिलाओं समेत प्रदर्शनकारी राजधानी कोच्चि, त्रिशूर, पलक्कड और कोट्टारक्कारा उप जेल के सामने सड़कों पर बैठ गए जिससे कई स्थानों पर यातायात बाधित हो गया।
सुरेंद्रन कोट्टारक्कारा जेल में ही बंद हैं। इन सभी स्थानों पर प्रदर्शनकारी तालियां बजाते हुए और ‘‘स्वामी अयप्पा’’ के नारे लगाते हुए देखे गए। तिरुवनंतपुरम में कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए बीजेपी नेता एम एस कुमार ने कहा कि पुलिस सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद सबरीमला मंदिर में एक भी युवा महिला को ले जाने में कामयाब नहीं हुई।
सुप्रीम कोर्ट ने अपने 28 सितंबर के आदेश में मंदिर में सभी आयु वर्ग की महिलाओं के प्रवेश की अनुमति दी थी। माकपा के नेतृत्व वाली एलडीएफ सरकार का रुख है कि वह कोर्ट के आदेश को लागू करने के लिए संवैधानिक रूप से बाध्य है जबकि मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस ने कहा कि वे श्रद्धालुओं के साथ है।
बीजेपी /आरएसएस और दक्षिणपंथी संगठनों ने यह स्पष्ट कर दिया कि वे मंदिर में 10 से 50 वर्ष की आयु समूह की किसी भी महिला को प्रवेश नहीं करने देंगे। सुरेंद्रन और दो अन्य को जबरन मंदिर के लिए जाने की कोशिश के बाद शनिवार रात को एहतियातन हिरासत में लिया गया और उन्हें सबरीमला से करीब 50 किलोमीटर दूर चित्तर पुलिस थाने लाया गया।
पुलिस ने उन्हें सबरीमाला जाने से रोकने के लिए कानून एवं व्यवस्था की स्थिति तथा मंदिर परिसर में तनावपूर्ण स्थिति का हवाला दिया। सुरेंद्रन को मजिस्ट्रेट के समक्ष पेश किया गया जहां उन्हें 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। बाद में बीजेपी नेता को कोट्टारक्कारा उप कारागार लाया गया।
बीजेपी के प्रदर्शन से एक दिन पहले हिंदू एक्यावेदी ने उनकी नेता के पी शशिकला को एहतियातन हिरासत में रखने के खिलाफ हड़ताल आहूत की थी। बाद में उन्हें जमानत दे दी गई थी।