हरिद्वार महाकुंभ में आज दूसरा शाही स्नान हो रहा है। इस शाही स्नान में तमाम अखाड़ों के साधु-संत आस्था की डुबकी लगा रहे हैं। शाही स्नान के दौरान कोरोना नियमों की जमकर धज्जियां उड़ाई गईं। कई साधु कोरोना पॉजिटिव मिले हैं। बावजूद इसके कोरोना नियमों का पालन कराने में उत्तराखंड पुलिस अक्षम दिखाई दे रही है।
हजारों की संख्या में आम लोग की भीड़ भी डुबकी लगाने के लिए जुटी हुई है। नेपाल के अंतिम राजा ज्ञानेंद्र वीर सिंह भी हरिद्वार पहुंचे हैं। वो भी संतों के साथ शाही स्नान करेंगे। आज से शुरू हुआ शाही स्नान 14 अप्रैल तक चलेगा। प्रशासन की तरफ से इसके लिए तैयारियां पूरी की जा चुकी हैं।
स्नान को लेकर जारी कार्यक्रम के मुताबिक, 13 अखाड़े गंगा में आस्था की डुबकी लगा रहे हैं। इसमें 7 सन्यासी और 3 बैरागी और 3 वैष्णव अखाड़े भी शामिल हैं। शाही स्नान के लिए कुंभ प्रशासन की तरफ से पुख्ता इंतजाम किए गए हैं। हर की पैड़ी के ब्रह्मकुंड अखाड़ों के संतों के लिए शाही स्नान की व्यवस्था की गई है।
ब्रह्मकुंड पर सिर्फ अखाड़ों के संतों के स्नान की व्यवस्था की गई है। अखाड़ों के संतों के शाही स्नान के बाद ही आम लोगों को ब्रह्मकुंड में स्नान की इजाजत दी जाएगी। कुंभ मेला आईजी संजय गुंज्याल के मुताबिक आम जनता को सुबह 7 बजे तक ही हर की पैड़ी में स्नान की अनुमति है, उसके बाद का समय हर की पैड़ी पर अखाड़ों के लिए आरक्षित है।
कुंभ मेला आईजी संजय गुंज्याल ने कहा कि हम लोगों से लगातार कोविड नियमों का पालन करने की अपील कर रहे हैं, लेकिन भारी भीड़ के कारण आज चालान जारी करना व्यावहारिक रूप से संभव नहीं है। घाटों पर सोशल डिस्टेंसिंग का पालन सुनिश्चित करना बहुत मुश्किल है, अगर हम सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कराएंगे तो भगदड़ जैसी स्थिति हो सकती है। कुंभ मेले के शाही स्नान को देखते हुए सुरक्षा के सख्त इंतजाम किए गए हैं। हर की पैड़ी इलाके में स्नाइपर्स तैनात किए गए हैं। डॉग स्कॉयड की टीमें और बम निरोधी दस्ते को भी तैयार रहने को कहा गया है।
शाही स्नान से एक दिन पहले उत्तराखंड में कोरोना के डरावने वाले आंकड़े सामने आए है। पिछले 24 घंटे में 1,333 संक्रमण के नए केस सामने आए जबकि 8 लोगों की मौत हो गई। वहीं देहरादून में 582, हरिद्वार में 386, नैनीताल में 122 कोरोना के नए मामले सामने आए हैं. हर की पौड़ी पर रविवार को स्थलीय परीक्षण के दौरान नौ लोग कोरोना से संक्रमित पाए गए।