महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे की अयोध्या यात्रा को लेकर भाजपा लगातार हमलावर रही। इन आलोचनाओं को शिवसेना ने ‘असली ढोंग’ करार करते हुए सोमवार को बीजेपी पर निशाना साधा। शिवसेना ने कहा कि ठाकरे की आलोचना करना भाजपा के पूर्व राजनीतिक सहयोगी के बुरे इरादे को उजागर करता है। शिवसेना ने अपने मुखपत्र सामना में लिखे संपादकीय में कहा कि महाराष्ट्र में विपक्ष इस बात से आश्चर्यचकित है कि राज्य में विपरीत विचारधारा वाली कांग्रेस से हाथ मिलाने के बावजूद शिवसेना ने खुद को ‘हिंदुत्व’ से दूर नहीं किया है।
बता दें उद्धव ठाकरे ने मुख्यमंत्री के तौर पर अपने कार्यकाल के 100 दिन पूरे होने पर शनिवार को अयोध्या जाकर भगवान राम के दर्शन किए थे। शिवसेना ने कहा, ” अयोध्या यात्रा को लेकर पार्टी के अध्यक्ष और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री ठाकरे को ढोंगी कहने वाली भाजपा असल में खुद असली ढोंगी है। अयोध्या में ठाकरे की राम मंदिर यात्रा से खुश होने के बजाय भाजपा नेता इसे पचा नहीं पा रहे हैं।”
संपादकीय में कहा गया कि जिस तरह भाजपा नेता ठाकरे की आलोचना कर रहे हैं, इससे उनके ‘बुरे इरादे’ को उजागर हो रहे हैं और कांग्रेस से हाथ मिलाने के बावजूद खुद को ‘हिंदुत्व’ से दूर नहीं करने के कारण ही विपक्ष घबराया हुआ है। शिवसेना ने कहा कि सत्तारूढ़ गठबंधन के साथी अलग विचारधारा के हो सकते हैं लेकिन मानवता के तौर पर सभी के साथ एक समान व्यवहार और सेवा करने को लेकर हम भी भगवान राम के कदमों पर चल रहे हैं।
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शिवसेना ने सामना में लिखा, ”नागरिकता संशोधन कानून को लेकर महाराष्ट्र में विपक्ष दिल्ली हिंसा जैसे हालात की उम्मीद कर रहा था लेकिन ठाकरे ने हालात को गंभीरता से संभाला और कोई छोटी सी भी घटना नहीं हुई।” उन्होंने कहा कि भगवान राम पर किसी भी व्यक्ति अथवा दल का एकाधिकार नहीं है। साथ ही शिवसेना ने भाजपा प्रदेश अध्यक्ष चंद्रकात पाटिल के उस बयान की भी निंदा की, जिसमें पाटिल ने कहा था कि अगर किसी का हृदय खुला है तो उसमें ही भगवान राम मिल सकते हैं।