रायपुर : छत्तीसगढ़ के चुनावी मिशन में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के दौरे के बाद सत्ताधारी दल भाजपा और सरकार राजनीतिक फायदे के अनुमान लगा रही है। राज्य में चुनावी घमासान के बीच लगातार मोदी और शाह के दौरे से कार्यकर्ताओं को एक तरह से रिचार्ज रखने की रणनीति है। वहीं सत्ता और संगठन में लगातार चुनावी रणनीतियों को लेकर कवायदों पर भी जोर दिया जा रहा है।
पीएम ने प्रदेश में फिर से नई रेल परियोजनाओं की सौगात दी है। इससे पहले बस्तर दौरे में उन्होंने चमचमाती रेल को हरी झंडी दिखाकर सौगातों का ऐलान किया था। बाद में इस लाइन पर चलने वाली रेल को लेकर अंचल को होने वाले लाभ पर दावे किए गए थे। इस बार फिर से कनेक्टिविटी पर जोर दिया गया है। पीएम ने अपने दौरे में जरूर सरकार रियायतों की झड़ी लगाई इसके बावजूद प्रदेश में नए सिरे से आंकलन शुरू हो गया है। मोदी ने चुनावी मौसम में एक तरह से एक तीर से कई शिकार करने की भी कोशिशें की है। वहीं सरकार को अब जनता के बीच जाने हर परिस्थितियों का सामना करने तैयार किया है।
राज्य सरकार की विभिन्न चुनावी योजनाओं के जरिए भी उन्होंने आम लोगों को लाभन्वित किया है। राज्य का जांजगीर जिला एक तरह से अजा बाहुल्य माना जाता है। हालांकि इस जिले के अपने पौराणिक महत्व हैं। वहीं यहां आने वाले वे पहले प्रधानमंत्री हैं। जिले में इन समीकरणों को उछालकर भी चुनावी फायदे की कवायदें हो रही है। सरकार की ओर से सौगातों के बाद लाभान्वित वर्ग के साथ चुनाव नफे-नुकसान का आंकलन भी सत्तधारी दल ने शुरू कर दिया है। मोदी और शाह के लगातार दौरे ने भाजपा में सरगर्मियां बढ़ाई है। वहीं इसी बहाने विपक्ष को पीछे धकेलने की भी रणनीति नजर आ रही है।