पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मंगलवार को महामारी को लेकर आयोजित एक वीडियो कान्फ्रेंस के दौरान केंद्र से राज्य के वित्तीय बकाये का मुद्दा उठाया और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से यह सुनिश्चित करने का आग्रह किया कि केंद्र इसको लेकर दिशानिर्देश जारी करे कि ‘‘कौन सा टीका खरीदना है और कोविड-19 महामारी के खिलाफ इस्तेमाल करना है।’’
मोदी ने यह वीडियो कान्फ्रेंस 10 राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ देश में कोरोना वायरस के चलते उत्पन्न होने वाली स्थिति पर चर्चा करने के लिए बुलायी थी। इनमें पश्चिम बंगाल राज्य भी शामिल था।
बनर्जी ने कहा, ‘‘केंद्र सरकार ने एफआरबीएम (राजकोषीय दायित्व एवं बजट प्रबंधन) सीमा तीन प्रतिशत से बढ़ाकर पांच प्रतिशत कर दी है लेकिन बढ़ाये गए दो प्रतिशत में से मात्र 0.5 प्रतिशत को बिना शर्त किया गया है। हम केंद्र सरकार से बाकी 1.5 प्रतिशत को भी एक वर्ष के लिए बिना शर्त करने का अनुरोध करते हैं।’’
पश्चिम बंगाल सरकार द्वारा मीडिया को जारी बयान में बनर्जी के हवाले से कहा गया, ‘‘इसके अलावा राज्य को केंद्र सरकार से जीएसटी प्रतिपूर्ति के 4135 करोड़ रुपये और समग्र रूप से 53000 करोड़ रुपये का बकाया अभी प्राप्त होना है।’’
उन्होंने इस दौरान यह मुद्दा भी उठाया कि कोविड-19 मरीजों के इलाज के लिए कौन सा कोविड-19 टीका या सेरम इस्तेमाल किया जाना चाहिए और केंद्र सरकार से इस संबंध में दिशानिर्देश जारी करने का आग्रह किया। बयान में उनके हवाले से कहा गया है, ‘‘टीके के संबंध में केंद्र सरकार को अधिकृत करना चाहिए कि कौन सा टीका खरीदना है और इस्तेमाल करना है।
उसे इस संबंध में दिशानिर्देश जारी करना चाहिए।’’ उन्होंने केंद्र से और ‘हाई फ्लो नेसल कैनुला’ और वेंटीलेटर मुहैया कराने का भी आग्रह किया। बनर्जी ने कहा कि यद्यपि महामारी को लेकर पूरे देश में स्थिति नाजुक है, लेकिन यह स्थिर है और लोगों को घबराना नहीं चाहिए।
उन्होंने इस महमारी से निपटने के लिए पश्चिम बंगाल सरकार द्वारा उठाए गए कदमों को सूचीबद्ध करते हुए कहा, ‘‘हमारे राज्य में सीपीएमएस (कोविड मरीज प्रबंधन प्रणाली) काम कर रही है जिसके माध्यम से गंभीर, मध्यम, हल्के और बिना लक्षण वाले रोगियों की पहचान की जा रही है।
सरकारी या निजी अस्पताल में भर्ती मरीज की निगरानी स्वास्थ्य विशेषज्ञों द्वारा की जाती है।’’ बनर्जी ने दावा किया कि बंगाल में आशा और स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं ने बंगाल में 2.5 करोड़ घरों में 30 करोड़ दौरे किये हैं।
पश्चिम बंगाल में केंद्र सरकार की आयुष्मान भारत स्वास्थ्य योजना के कार्यान्वयन की अनुमति नहीं देने को लेकर आलोचना का सामना करने वाली बनर्जी ने कहा कि राज्य सरकार ने राज्य के 7.5 करोड़ लोगों को पांच लाख रुपये प्रति परिवार के स्वास्थ्य कवरेज वाले ‘स्वास्थ्य साथी’ कार्ड प्रदान किए हैं। राज्य में कोविड-19 की मौतों की संख्या पर, उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल में मौतों के ऑडिट पर जोर दिया गया है।