लुधियाना : देश-विदेश के सिख धर्म प्रचारक रंजीत सिंह ढंढरिया वाले को जान से मार देने की धमकी मिलने के पश्चात पंजाब सरकार ने जहां उनकी सुरक्षा को दुरूस्त करते हुए बढ़ाने के आदेश दिए है वहीं पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेंद्र सिंह ने मनाली की हसीन वादियों से फुर्सत पाते ही रंजीत सिंह ढंढरिया वाले को कथित धमकियां देने वाले चौक मेहता स्थित निहंग जत्थेबंदी- दमदमी टकसाल को सख्त चेतावनी देते हुए उन्हें कानून अपने हाथ में लेने की किसी भी कोशिश के खिलाफ सावधान किया है।
स्मरण रहे कि रंजीत सिंह ढंढरिया वाले ने दमदमी टकसाल को लेकर अपना बयान दिया था जिसको लेकर टकसाली निहंगों के प्रवक्ता चरणजीत सिंह जसोवाल ने कथित तौर पर गुरूद्वारा गुरूदर्शन प्रकाश मेहता चौक में बाबा हरनाम सिंह और शिरोमणि कमेटी के लोगों की मौजूदगी में खुलकर मार देने की धमकियां दी थी। जिसमें सरेआम कहा था कि वह 6 की 6 गोलियां मारकर ढंढरिया वाले की जान ले लेंगे।
जबकि मई 2016 में एक छबील की आड़ में ढंढरिया वाले पर गोलियों की बौछार कर दी गई थी। जिसमें इनके एक सहयोगी मुख्य सेवादार भाई भूपिंद्र सिंह की मौत भी हो गई थी। इस घटना के पश्चात पंजाब सरकार ने ढंढरिया वाले को सुरक्षा दी हुई थी। दमदमी टकसाल आगुओं ने कहा था कि जो भी टकसाल के खिलाफ बोलेगा उसका हिसाब-किताब करेंगे। यह भी सत्य है कि दमदमी टकसाल के लोग गुरू की नगरी अमृतसर और तरनतारन में होने वाले रंजीत सिंह के गुरूमति समागमों को भी नही होने दे रहे।
कैप्टन अमरेंद्र सिंह ने कानून व्यवस्था का हवाला देते हुए इस संज्ञान पर प्रचारक ढंढरिया वाले की सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम के साथ-साथ मामले की उच्च स्तरीय जांच के आदेश दिए है। सरकारी प्रवक्ता के मुताबिक यह वीडियो 20 मई को सोशल मीडिया पर वायरल हुई है जिसमें दमदमी टकसाल के प्रवक्ता चरणजीत सिंह जस्सोवाल ने रंजीत सिंह ढंढरिया वाले को जान से मार देने की धमकी दी है।
इस मामले से संबंधित रिपोर्ट को गंभीरता से लेते हुए कैप्टन अमरेंद्र सिंह ने दमदमी टकसाल को अपनी धार्मिक सीमाएं ना फादने के लिए कहा। उन्होंने चेतावनी भी दी कि ऐसी किसी भी कार्यवाही को सूबे की अमन-शांति और सदभावना के लिए खतरा समझते हुए दोषियों के विरूद्ध सख्त कार्यवाही की जाएंगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि वह किसी को भी दहशत फैलाने या व्यक्तिगत वाह-वाही लूटने के लिए धर्म का दुप्रयोग करने की इजाजत नहीं देंगे। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि ऐसी गतिविधियों पर तुरंत रोक ना लगाई तो वह इसको टकराव की कार्यवाही मानते हुए उसके मुताबिक ही जवाब देंगे।
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि वह धार्मिक संस्थानों द्वारा अपने धर्म का प्रचारक करने के लिए पूर्ण आजादी के हक में है परंतु उन लोगों को सूबे की अमन शांति और एकता में विध्र डालने वाली किसी भी प्रकार की कार्यवाही में शामिल होने की आज्ञा नहीं देंगे। मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि भडक़ाऊ तरीकों और नफरत फैलाने वाली कार्यवाहियों के लिए पंजाब में कोई स्थान नहीं क्योंकि पंजाब ने आतंकवाद के दौरान बहुत बड़ा नुकसान झेला है। मुख्यमंत्री ने विस्तार से जांच के हुकम देते हुए पुलिस को वीडियो की शिनाख्त के उपरांत दोषियों पर कार्यवाही करने का हुकम दिया है। स्मरण रहे कि संत ढंढरिया वाला जो पिछले 2 साल पहले लुधियाना में एक प्राणघातक हमले के दौरान सौभागय से बच गए थे, किंतु इस दौरान उन्होंने अपने एक साथी को खो दिया था। यह हमला छबील के दौरान दमदमी टकसाल के चुनिंदा समर्थकों द्वारा किया गया था।
– सुनीलराय कामरेड
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