चंडीगढ़ : पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने हरियाणा के अपने समकक्ष मनोहर लाल खट्टर द्वारा डेरा सच्चा सौदा के प्रमुख को अदालती सजा के बाद भड़की हिंसा का दोष पंजाब के सिर मढऩे की कड़ी आलोचना करते इसे श्री खट्टर द्वारा अपनी जिम्मेदारी से भागने के लिए निराशाजनक और बेतुकी कोशिश बताया है। कैप्टन सिंह ने श्री खट्टर द्वारा पंजाब सरकार विरुद्ध लगाए आरोपों को हास्यस्पद बताते हुए कैप्टन ने कहा कि हरियाणा के मुख्यमंत्री राम रहीम के खिलाफ अदालती फैसला आने के बाद घटी हिंसा को रोकने में अपनी सरकार की नाकामी पर पर्दा डालने के लिए निराशा भरी कोशिश कर रहे हैं।
मुख्य मंत्री ने कहा कि श्री खट्टर की मायूसी इस तथ्य से ही झलकती है कि अदालत के फैसले के बाद राम रहीम को भगाने की कथित साजिश के लिए उनको अपनी ही पुलिस के पाँच कर्मचारियों को निलंबित करना पड़ा और अब वह इस समूचे मसले की जिम्मेदारी पंजाब पुलिस के सिर डालने की कोशिश कर रहे हैं और इससे हास्यास्पद और बात नहीं हो सकती। कैप्टन ने अपने पड़ोसी सूबे में भाजपा के शासन वाले मुख्यमंत्री को कहा,”यदि हरियाणा पुलिस के पाँच कर्मी दोषी नहीं थे तो फिर उन की सरकार ने इन्हें निलंबित क्यों किया?” कैप्टन अमरिंदर सिंह ने राम रहीम के खिलाफ बलात्कार केस में अदालत के फैसले से पहले पंचकुला में डेरे के एक लाख से अधिक श्रद्धालुओं को इकठ्ठा होने के लिए खट्टर द्वारा पंजाब को कसूरवार ठहराने की कड़े शब्दों में आलोचना की। उन्होंने कहा कि अदालती फैसले के बाद घटी हिंसा में मौतें हो जाने और कई लोगों के जख्मी होना यह स्पष्ट दिखाता है कि हरियाणा से बड़ी संख्या में डेरा प्रेमी जुड़े थे तो फिर डेरा समर्थकों को हरियाणा में प्रवेश करने पर काबू करने में पंजाब सरकार से किस तरह आशा रखी जा सकती है।
कैप्टन ने कहा कि पंचकुला में अमन -कानून की व्यवस्था के लिए सिर्फ हरियाणा जिम्मेदार है जो अदालत के फैसले के बाद के हालात बारे खुफिया रिपोर्टों में दी चेतावनी के बावजूद इलाको में लोगों को एकत्रित होने से रोकने में असफल रहा। उन्होंने कहा कि ऐसा लगता है कि श्री खट्टर यह सच भूल गए हैं कि पंचकूला में हुए खून -खराबे के बाद पंजाब में न सिर्फ एक -दो और मामूली घटनाएँ ही घटी हैं बल्कि कोई जानी नुकसान भी नहीं हुआ। उन्होंने कहा कि यदि पंचकूला में बड़ी तादाद में एकत्रित हुए डेरा प्रेमी पंजाब से होते तो स्थिति और भयानक होनी थी। उन्होंने कहा कि पंचकूला में स्थिति बेकाबू हो जाने की इजाजत देने के लिए अदालत ने भी हरियाणा सरकार को जिम्मेदार ठहराया। मुख्यमंत्री ने श्री खट्टर को इस मसले पर संकुचित राजनीति खेलने से बचने की अपील की जिसमें बड़ी संख्या में मानवीय जानें गई और जायदाद को नुकसान पहुँचा।