लुधियाना, रीना अरोड़ा : आम आदमी पार्टी (आप) के सीनियर नेता और विरोधी पक्ष के नेता हरपाल सिंह चीमा ने लुधियाना जेल में हिंसक झड़पों के दौरान हुई मौतें और आधा दर्जन कैदियों के फरार होने की घटना पर पंजाब के जेल मंत्री सुखजिन्दर सिंह रंधावा के साथ-साथ बतौर गृह मंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह से भी तुरंत इस्तीफा मांगा है।
पार्टी हैडक्वाटर द्वारा जारी बयान में हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि पिछले समय के दौरान लगातार हो रही अपराधिक वारदातों से साबित होता है, कि राज्य की कानून व्यवस्था पूरी तरह से डगमगा चुकी है। कानून और सरकार नाम की कोई चीज नहीं है। अपराधियों और बहुभांती माफियों के हौसले बुलंद हैं। लोग भारी खौफ के साए में दिन व्यतीत कर रहे हैं।
हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि सब से सुरक्षित मानी जाती नाभा जेल में बेअदबी मामले के आरोपों में बंद डेरा प्रेमी महेन्दरपाल बिट्टू के कत्ल के एक हफ्ते के अंदर जेल में यह तीसरी बड़ी घटना बाहर आई है। जबकि जेलों में होती ओर छोटी-मोटी घटनाएं तो अंदर ही अंदर दबा ली जाती हैं। चीमा ने कहा कि लुधियाना जेल की घटना ने पहले हुई कपूरथला और गुरदासपुर जेलों की हिंसक घटनाओं को भी ताजा कर दिया हैं और साबित कर दिया है कि बादलों के राज की अपेक्षा आज भी कुछ नहीं सुधरा बल्कि कानून व्यवस्था की स्थिति बद से बदतर हुई है।
हरपाल सिंह चीमा ने आरोप लगाया कि राजनैतिक नेताओं और पुलिस प्रशासन की मिली भुगत के साथ जेलों में ही बड़े-बड़े गैंग और माफिया चलाए जा रहे हैं। यही हाल अकाली भाजपा सरकार के समय था।
चीमा ने कहा कि जेलों में उच्च स्तरीय जैमर लगाने का काम पहले अकाली भाजपा सरकार की तरह कैप्टन सरकार ने भी जानबुझ कर ठंडे बस्ते में रखा हुआ है। वास्तविकता यह है कि बादलों की तरह कैप्टन सरकार भी जेलों में चल रहे माफिया को रोकना नहीं चाहती, क्योंकि ऐसे माफिया के साथ इन के राजनैतिक और वित्तीय लाभ जुड़े हुए हैं।