BREAKING NEWS

केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह चुनावी राज्य कर्नाटक में रविवार को कई कार्यक्रमों में लेंगे हिस्सा◾कर्नाटक विधानसभा चुनाव : कांग्रेस ने उम्मीदवारों की पहली सूची जारी की, सिद्धरमैया और शिवकुमार के नाम शामिल◾MP : कमलनाथ के गढ़ छिंदवाड़ा में शाह ने कांग्रेस की खिंचाई की◾अरुणाचल पहुंचे जी20 प्रतिनिधि, रविवार को जा सकते हैं तवांग◾राजनीति में उन लोगों की आवाज बनने के लिए आया हूं जो अपनी आवाज नहीं उठा सकते : वरुण गांधी◾TMC ने प्रवक्ताओं की नयी सूची जारी की◾सावरकर पर संग्राम: राहुल गांधी की टिप्पणी पर CM शिंदे का कटाक्ष, बोले- कांग्रेस नेता खुद को क्या समझते हैं?◾‘कर्नाटक में डबल इंजन सरकार की वापसी तय’... दावणगेरे में बोले प्रधानमंत्री मोदी◾सोशल मीडिया दिशानिर्देश सरकारी कर्मचारियों को जम्मू-कश्मीर प्रशासन की खुली धमकी: महबूबा मुफ्ती ◾सोशल मीडिया दिशानिर्देश सरकारी कर्मचारियों को जम्मू-कश्मीर प्रशासन की खुली धमकी: महबूबा मुफ्ती ◾राहुल और तेजस्वी के समर्थन में उतरे ललन सिंह, BJP पर भड़के; बोले- देश में इमरजेंसी जैसे हालात◾PM Modi ने कहा - 'भारत हर एक व्यक्ति के प्रयासों से 'विकसित' टैग हासिल करेगा'◾Jammu Kashmir: रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव का ऐलान, केंद्रशासित प्रदेश में अगले साल से चलेगी वंदे भारत ट्रेन◾राहुल गांधी की सदस्यता रद्द होने के बाद कांग्रेस से दूर क्यों है नीतीश कुमार ◾दिल्ली पुलिस को मिली बड़ी कामयाबी, संदीप बड़वासनिया गैंग के तीन सदस्य उत्तम नगर से गिरफ्तार◾महाराष्ट्र : BJP ने OBC का 'अपमान' करने के लिए राहुल गांधी का किया विरोध प्रदर्शन◾Tornado in Punjab: पंजाब के फाजिल्का में बवंडर से 12 लोग घायल, 30 घर क्षतिग्रस्त◾ राहुल गांधी पर भड़के केंद्रीय मंत्री रविशंकर,कहा राहुल पर मानहानि के 60 मामले चल रहे हैं◾तोशखाना मामले में इमरान खान को मिली राहत, लाहौर हाइकोर्ट ने दी जमानत◾तोशखाना मामले में इमरान खान को मिली राहत, लाहौर हाइकोर्ट ने दी जमानत◾

पंजाब कांग्रेस के दिग्गज नेता सुनील जाखड़ ने छोड़ा 'हाथ' का साथ, आलाकमान को लेकर कही ये बड़ी बात

सबसे पुरानी और बड़ी सियासी पार्टी कांग्रेस इन दिनों अपने आगामी भविष्य को लेकर तीन दिवसीय चिंतन शिविर का आयोजन कर रही है। ऐसे में पार्टी को पंजाब में एक बड़ा झटका लगा है। कांग्रेस के कद्दावर नेता सुनील जाखड़ ने कांग्रेस छोड़ने का ऐलान कर दिया है।  

चिंतन शिविर के बीच पार्टी को बड़ा झटका 

राजस्थान के उदयपुर में जारी चिंतन शिविर के बीच कांग्रेस के लिए यह बड़ा झटका है। कांग्रेस का साथ छोड़ते हुए उन्होंने कहा कि आज कांग्रेस पार्टी खटिया पर नजर आ रही है, गुड लक एंड गुड बाय टू कांग्रेस पार्टी। बता दें कि सुनील जाखड़ ने शनिवार को अपने आधिकारिक फेसबुक पेज से लाइव होकर कांग्रेस छोड़ने का ऐलान किया। इसके अलावा पंजाब कांग्रेस के पूर्व अध्‍यक्ष ने कांग्रेस में जातिगत समीकरण को ध्यान में रखकर की जा रही राजनीति पर सवाल उठाए और आलकमान पर निशाना साधा।  


सुनील जाखड़ ने इस वजह से छोड़ी पार्टी? 

सुनील जाखड़ ने कहा कि पंजाब में जो कांग्रेस के इंचार्ज थे, उन्हें नोटिस न देकर हमें दिया। अगर मेरी वजह से पंजाब में सरकार नहीं बनी तो हमें निकला क्यों नहीं गया। उन्होंने पार्टी हाईकमान पर निशाना साधते हुए कहा कि नोटिस देकर मेरा क्या बिगाड़ लेंगे। चापलूसों के साथ रहना आपको मुबारक हो, लेकिन फैसले तो लीजिए। सही हो या गलत हो ये तो समय ही बताएगा। सुनील जाखड़ ने ये ऐलान ऐसे वक्त किया है, जब उदयपुर में कांग्रेस का चिंतन शिविर हो रहा है। यहां पर पार्टी के दिग्गज नेता जुटे हैं और आगे की रणनीति तय कर रहे है। 13 मई को शुरू हुआ ये शिविर तीन दिन चलेगा, जिसका आज दूसरा दिन है।  

ज्ञानवापी मस्जिद : कल भी होगी सर्वे की कार्रवाई, बिसेन ने कहा-वहां कल्पना से बहुत कुछ ज्यादा

नाराजगी से निकल कर आया ये बड़ा फैसला? 

ज्ञात हो कि सुनील जाखड़ पार्टी विरोधी गतिविधियों के खिलाफ अपने खिलाफ हुई कार्रवाई को लेकर पार्टी से नाराज चल रहे थे। 68 वर्षीय नेता ने कहा कि दिल्ली में बैठे कांग्रेस नेताओं ने पंजाब में पार्टी को बर्बाद कर दिया। उन्होंने कहा कि राज्य में कांग्रेस को एक गरीब बसपा के रूप में पेश करने का भी प्रयास किया गया था। उन्होंने भावनात्मक आक्रोश में कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से कहा कि आप अपनी विचारधारा से मत हटिए।  

राहुल गांधी की प्रशंसा की  

इसके साथ सुनील जाखड़ ने राहुल गांधी की प्रशंसा करते हुए उन्हें एक अच्छा इंसान बताया और कहा कि वह पार्टी की जिम्मेदारी पने हाथों में ले ले, तो बेहतर होगा। सुनील जाखड़ ने राहुल गांधी को चापलूसों से खुद को दूर करने का आग्रह किया। वहीं, उन्होंने गुड लक और अलविदा कांग्रेस कहते हुए अपनी बातें समाप्त की। 

गौरतलब है कि जाखड़ पिछले काफी समय से पार्टी विरोधी लाइन पर चल रहे थे, जिन्हें उनके "पार्टी विरोधी" बयानों के लिए कारण बताओ नोटिस दिया गया था, उन्होंने कारण बताओ नोटिस का जवाब नहीं दिया। इससे पहले कि अनुशासन विरोधी समिति ने उन्हें सर्वदलीय पदों से हटाने का फैसला किया।