मौनी अमावस्या माघ महीने में आती है और इसी से ही द्वापर युग होता है। भगवान कृष्ण का द्वापर युग था। मौनी अमावस्या भी इसी युग से मनाई जाती है। हिंदू धर्म में जिस तरह कार्तिक माह को पवित्र और पूजनीय माना गया है इसी तरह से माघ माह को भी माना गया है।
गंगा स्नान करने के लिए इस पूरे महीने पर प्रयागराज के संगम तट पर कल्पवास होता है। ऐसा कहा जाता है कि पवित्र नदियों में इस महीने स्नान करके व्यक्ति अपने पापों से मुक्त और मनचाही मनोकामना पूरी होती है। ऐसी मान्यता है कि मौनी अमावस्या पर स्नान करके पूरे महीने स्नान करके जो फल प्राप्त होता है वह उस दिन मिल जाता है।
ये है मौनी अमावस्या का महत्व
स्नान दान मौनी अमावस्या से करने पर मोक्ष मिलता है। मपु ऋषि का जन्म अमास्या के इस दिन हुआ था। इसी वजह से मौनी अमावस्या के नाम से जानते हैं। शास्त्रों में कहा गया है कि किसी भी तीर्थ स्थल पर इस दिन स्नान और दान करके पुण्य की प्राप्ति होती है। आप इस दिन अगर पवित्र नदी में स्नान नहीं कर पा रहे तो अपने स्नान के पानी मे गंगा जल मिला लें और स्नान कर लें। ऐसा करने से आपके जीवन में दुख और दरिद्रता दूर होती है।
ये है मौनी अमावया का मुहूर्त
24 जनवरी को अमावस्या की तिथि रात 2.15 से प्रारंभ होगी। हालांकि इस आमवस्या की समाप्ति 25 जनवरी को 3.11 मिनट पर होगी। दोपहर 12.10 मिनट पर शनि का राशि परिवर्तन होगा।
ये हैं मौनी अमावस्या के पूजन के नियम
सुबह और शाम दोनों ही मौनी अमावस्या के दिन नहाते हैं। माथे पर जल स्नान से पहले लगाएं और उसके बाद नहाना शुरु करें।
ये है पूजा-विधि मौनी अमावस्या पर
1. किसी भी पवित्र नदी में मौनी अमावस्या के दिन स्नान करें। अगर आप अपने घर पर ही स्नान कर रहे हैं तो आप अपने स्नान के पानी में गंगला जल मिला लें।
2.स्नान के बाद भगवान विषणु की पूजा और व्रत का संकल्प लें।
3. तुलसी की पूजा मौन अमावस्या में करें और उसके बाद 108 बार परिक्रमस करें।
4. फूल , फल, तिल आदि ये सारी चीजें अपनी पूजा में शामिल करें और गरीबों को वस्त्र और अन्न दान में दें।
5.ऐसा माना जाता है कि मौन व्रत मौनी अमावस्यसा में धारण करके श्रेयस्कर प्राप्त होता है।
6. भक्त अपने मन ही मन में इस दिन विष्णुसहस्रनाम का पाठ करें।
क्या दान करें मौनी अमावस्या के दिन ?
तिल का तेल, तिल और तिल-गुड़ से बनी मिठाई , जूते, काले कपड़े, उनी कपड़े,कंबल,आद मौनी अमाव्स्या के दिन दान में दें। अगर चंद्रामा नीच का आपकी कुंडली में है तो इसके लिए दूध, चावल,खीदर, बताशा आदी ये चीजों को दान में दें।