शादी सभी के लिए एक बेहद ही खास अवसर होता हैं और भारत में तो शादी ना सिर्फ दूल्हा-दुल्हन के बीच बल्कि दो परिवारों के बीच में भी होती हैं। लेकिन क्या हो जबी इन्ही दो परिवारों की खुशियां सिर्फ 24 घंटो के अंदर-अंदर ही मातम में बदल जाए। कुछ ऐसा ही दर्दनाक माहौल हमें देखने को मिला बिहार के नालंदा गाव में जहा एक ही दिन में दूल्हा-दुल्हन की शादी भी हो गयी और साथ ही महज 24 घंटो के अंदर ही दोनों की मौत भी।
दरहसल हुआ यूँ की जिस कार में दूल्हा अपनी दुल्हन को विदा कराकर ले जा रहा था उसे तेज रफ्तार ट्रैक्टर ने जोरदार टक्कर मार दी। कार सड़क से नीचे उतर गई। दूल्हा और दुल्हन की मौके पर ही मौत हो गई। हादसे में दूल्हे का बहनोई गंभीर घायल हो गया। पुलिस ने मामला दर्ज कर ट्रैक्टर सहित फरार हुए चालक तलाश शुरू कर दी है. घटना बिहार के नालंदा जिले के गांव की है।
घटना नालंदा के गिरियक थाना क्षेत्र के पुरैनी गांव के पास की है. शुक्रवार को गिरियक के सतौआ गांव के रहने वाले कारू चौधरी की बेटी पुष्पा कुमारी (20 साल) की शादी नवादा के महराना गांव के रहने वाले श्याम कुमार (27 साल) के साथ हुई थी। शनिवार दोपहर को पुष्पा को विदा किया गया था। इनोवा कार में श्याम अपनी दुल्हन पुष्पा और बहनोई के साथ अपने गांव महाराना के लिए निकला था।
रेत से भरे ट्रैक्टर से हुई घमासान टक्कर
ये वारदात दोपहर के करीब 3-4 बजे के बीच की हैं जब उनकी गाड़ी पुरैनी गांव के पास पहुंची ही थी कि तभी रेत से भरे तेज रफ्तार ट्रैक्टर ने कार को जोरदार टक्कर मार दी। इसके कारण कार सड़क से नीचे उतर गई। टक्कर इतनी भयानक थी कि श्याम और पुष्पा की मौके पर ही दर्दनाक मौत हो गई। श्याम का बहनोई और कार का ड्राइवर इस बुरी तरह से घायल हो गए कि उनके बारे में भी अभी कुछ भी कह पाना मुश्किल ही बताया जा रहा हैं।
फरार हुआ ट्रैक्टर ड्राइवर
घटना की जानकारी मिलते ही मौके पर पहुंची पुलिस ने दूल्हा-दुल्हन के शव को मर्चुरी भिजवाया और गंभीर घायल बहनोई को इलाज के लिए विम्स में भर्ती कराया। कार को टक्कर मारने के बाद आरोपी चालक ट्रैक्टर सहित फरार हो गया था। जिसकी शिनात अब तक जारी हैं। बिहार पुलिस ने केस दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी है। लेकिन असिडेंट का आरोपी अबतक पुलिस की पकड़ से बाहर हैं।
लोगों ने लगाए पुलिस पर ऐसे आरोप
ग्रामीणों का कहना है कि सतौआ में हर दिन बड़े पैमाने पर अवैध बालू का खनन होता है। रेत खनन करने वाले लोग ट्रैक्टर से रेत भरकर तेज रफ्तार से वाहन दौड़ाते हुए सड़क से निकलते हैं। जिसके चलते ना जाने कितनी जाने रोज़ यूँ रोंद दी जाती हैं। साथ ही ग्रामीणों का आरोप है कि पुलिस की भी अवैध रेत खनन करने वालों के साथ मिलीभगत है जिसके चलते वह केस को ज़्यादा प्राथमिकता भी नहीं देते हैं और ना उन जानो को इन्साफ मिल पाता हैं।