नई दिल्ली : पांच बार की विश्व चैम्पियन एम सी मैरीकाॅम (48 किग्रा) सहित भारत की चार मुक्केबाजों ने रविवार को यहां विश्व महिला मुक्केबाजी चैंपियनशिप केक्वार्टरफाइनल में जगह पक्की की लेकिन एल सरिता देवी (60 किग्रा) में हार का सामना करना पड़ा। मैरीकोम ने यहां केडी जाधव हाल में कजाखस्तान की ऐजरिम कासेनायेवा को 5-0 से पराजित किया।
भारत के लिये दोपहर के सत्र में युवा मुक्केबाज मनीषा मोन (54 किग्रा), लवलीना बोरगोहेन (69 किग्रा) और भाग्यवती काचरी (81 किग्रा) ने अपने मुकाबलों में जीत हासिल की थी। विश्व चैम्पनशिप में छह पदक जीत चुकी मैरीकाम ने अपने अनुभव से कजाखस्तान की मजबूत प्रतिद्वंदी को चित किया।
अब वह सेमीफाइनल में जगह बनाने के लिये मंगलवार को चीन की वु यू से भिड़ेंगी जिन्होंने फिलीपींस की जोसी गाबुको को मात दी। काफी बेहतर रहा मैरीकॉम का डिफेंस…पैंतीस साल की मैरीकाम का डिफेंस काफी बेहतर रहा और वह बीच बीच में ताकतवर मुक्कों से कासेनायेवा के खिलाफ अंक जुटाती रहीं।
इससे जजों का फैसला 30–27, 30–27, 30–27, 30-27, 29-28 से उनके पक्ष में रहा। सरिता से पहले रिंग में उतरी सभी भारतीय मुक्केबाजों शानदार जीत से अगले दौर में प्रवेश किया। भारत के लिये दिन में जीत की शुरूआत युवा मनीषा ने की, जिन्होंने मौजूदा विश्व चैम्पियन कजाखस्तान की डिना जोलामैन को 5–0 से परास्त किया।
वहीं लवलीना ने दिन की दूसरे मुकाबले में पनामा की एथेयना बाईलोन को सर्वसम्मत फैसले में 5– 0 से हराया। इस मुकाबले में हालांकि दोनों मुक्केबाजों ने कई बार एक दूसरे को नीचे गिराया। भाग्यवती ने लाइट हेवीवेट के शुरूआती दौर के मुकाबले में जर्मनी की इरिना श्कोनबर्गर को 4 – 1 से हराया और अब वह 20 नवंबबर को कोलंबिया की जेसिका पाओला से भिड़ेंगी।
भाग्यवती को लंबाई कम होने के कारण जर्मनी की मुक्केबाज के खिलाफ थोड़ा ज्यादा प्रयत्न करना पड़ा। हालांकि उनका पैर का मूवमेंट थोड़ा कमजोर लगा लेकिन वह जबरदस्त मुक्कों की बदौलत जीत दर्ज करने में कामयाब रहीं।