जापान में चल रहे टोक्यो ओलंपिक में भारत के लिए अब तक कुछ खास नहीं रहा है। भारतीय महिला हॉकी टीम को तोक्यो ओलंपिक में लगातार दूसरी हार के साथ भुगतना पड़ा जब सोमवार को रियो ओलंपिक की कांस्य पदक विजेता जर्मनी ने उसे 2.0 से पछाड़ा।
पहले मैच में दुनिया की नंबर एक टीम नीदरलैंड से 1.5 से हारने के बाद भारतीयों ने बेहतर प्रदर्शन किया लेकिन पूल ए के मैच में रियो ओलंपिक कांस्य पदक विजेता जर्मनी को हराने के लिये यह काफी नहीं था। भारतीयों ने कई आसान मौके गंवाये जिनमें तीसरे क्वार्टर में गुरजीत कौर ने एक पेनल्टी स्ट्रोक भी गंवाया।
जर्मनी के लिये कप्तान निकी लौरेंज ने 12वें और अन्ना श्रोडेर ने 35 वें मिनट में गोल दागा। जर्मनी की लगातार दूसरी जीत है जिसने पहले मैच में ब्रिटेन को 2.1 से हराया था। भारत को अब बुधवार को ब्रिटेन से खेलना है। जर्मनी ने मैच में आक्रामक शुरूआत की और गेंद पर नियंत्रण बनाये रखा । भारतीय टीम धीरे धीरे मैच में लौटी। जर्मनी को नौवें मिनट में गोल करने का मौका मिला लेकिन फ्रांसिस्का हाउके के शॉट को भारतीय गोलकीपर सविता ने बचा लिया।
तीन मिनट बाद ही हालांकि कप्तान लौरेंज ने पहले पेनल्टी कॉर्नर को गोल में बदलकर जर्मनी को बढत दिला दी। जर्मनी को 21वें मिनट में फिर पेनल्टी कॉर्नर मिला जिसे भारतीय डिफेंडरों ने बचा लिया। इस बीच भारतीय खिलाड़ियों ने कई मौके बनाये लेकिन उन्हें गोल में नहीं बदल सकी। वंदना कटारिया ने कई अच्छे मूव बनाये लेकिन फॉरवर्ड पंक्ति उन्हें अंजाम तक नहीं ले जा सकी।
तीसरे क्वार्र के दूसरे मिनट में वंदना ने भारत को पहला पेनल्टी कॉर्नर दिलाया। कप्तान रानी का शॉट जर्मन डिफेंडर के शरीर से टकराया। रेफरल पर भारत को पेनल्टी स्ट्रोक मिला लेकिन गुरजीत गोल नहीं कर सकी। तीन मिनट बाद जर्मनी के लिये श्रोडर ने दूसरा गोल दाग दिया। भारतीयों ने आक्रमण जारी रखा लेकिन जर्मनी के रक्षा कवच को भेद नहीं सके।