Indian team के पूर्व कप्तान राहुल द्रविड़ ने इंग्लैंड दौरे पर गई भारतीय टीम के मौजूदा मुख्य कोच रवि शास्त्री के सर्वश्रेष्ठ टीम बताने वाले बयान के जवाब में कहा कि उनके लिए यह मायने नहीं रखता है कि कौन सर्वश्रेष्ठ है और कौन सी टीम नहीं है। लेकिन फिलहाल यह महत्वपूर्ण है कि टीम ने उससे क्सा सीख ली और आगे कैसे बढऩा है।
Indian team ने इंग्लैंड में आखिरी टेस्ट सीरीज 2007 में जीती थी और तब द्रविड़ ही टीम के कप्तान थे। हाल ही में भारतीय टीम इंग्लैंड दौरे से 1-4 से टेस्ट सीरीज हारकर लौटी है। उसके बाद भी टीम के कोच शास्त्री ने इसी टीम को सर्वश्रेष्ठ का तमगा दिया है।
रवि शास्त्री के बयान पर यह बोला राहुल द्रविड़ ने
राहुल द्रविड़ ने दिल्ली में एक कार्यक्रम में कहा, ‘कौन सर्वश्रेष्ठ है और कौन नहीं ये मेरे लिये मायने नहीं रखता है। मुझे लगता है कि इस पूरी बात को बढ़ा चढ़ाकर पेश कर दिया गया और शास्त्री क्या सोचते हैं और क्या नहीं इस पर टिप्पणी करने में मेरी दिलचस्पी नहीं है। महत्वपूर्ण ये है कि हमने इन सब चीजों से क्या सीख ली है और अगली बार दौरा करने के लिये हमें क्या करना चाहिए।’
Indian team का गेंदबाजी अटैक बेजोड़ है
राहुल द्रविड़ का मानना है कि Indian team का तेज गेंदबाजी का जो अटैक है वह बहुत अच्छा है। लेकिन मौकों का अच्छे से फायदा ना उठाने की वजह से वह इस सीरीज को हारे हैं।
राहुल द्रविड़ ने आगे कहा, ‘हमें तीन या चार साल में एक बार इंग्लैंड दौरा करने का मौका मिलता है और खिलाड़ियों और कोचिंग स्टाफ को भी निराशा होती है क्योंकि कोई नहीं जानता कि अगले चार सालों में क्या होगा। इस बार वास्तव में हमारी टीम अच्छी थी। हमारा गेंदबाजी अटैक बेजोड़ था।’
इस सीरीज के सकारात्मक पहलू भी रहे हैं
द्रविड़ ने कहा, ‘मुझे लगता है कि Indian team को भी अहसास होगा कि उसके पास मौके थे। निश्चित तौर पर इस सीरीज के कुछ सकारात्मक पहलू भी रहे। हमारी गेंदबाजी और हमारी फील्डिंग अच्छी रही, विशेषकर हमारी कैचिंग बहुत अच्छी थी, लेकिन जैसे मैंने पहले कहा कि हमारे पास मौके थे लेकिन इस बार हम उनका फायदा नहीं उठा पाए। हमें चार साल में इंग्लैंड दौरे का मौका मिलता है तो इस लिहाज से ये निराशाजनक है।’
इंग्लैंड की इन पिचों पर खेलना बहुत मुश्किल है
जब भारत साल 2011 दौरे पर इंग्लैंड गई थी तो उस Indian team में राहुल द्रविड़ अकेले ऐसे बल्लेबाज थे जिन्होंने इंग्लैंड में अच्छा प्रदर्शन किया था जबकि इस बार कोहली को छोड़कर किसी ओर खिलाड़ी ने अच्छा प्रदर्शन नहीं किया।
द्रविड़ ने कहा, ‘’ईमानदारी से कहूं तो इंग्लैंड में परिस्थितियां बल्लेबाजों के लिए आसान नहीं होती हैं। दोनों टीमों के बल्लेबाजों को ही संघर्ष करना पड़ा। अगर विराट कोहली को छोड़ दिया जाए तो ये दोनों टीमों के बल्लेबाजों के लिये आसान सीरीज नहीं रही। मैं इंग्लैंड में खेला हूं और वहां परिस्थितियां कड़ी होती हैं लेकिन जरूरत इसकी है कि हमें ऐसा क्या करना चाहिए जिससे हम इस तरह की परिस्थितियों में जितना संभव हो सके बेहतर खेल सकें।”