बीजेपी ने जम्मू-कश्मीर में महबूबा सरकार से समर्थन वापस लेने का फैसला लिया है। पार्टी अध्यक्ष अमित शाह के साथ हुई कोर ग्रुप की बैठक के बाद ये निर्णय लिया गया है। इसके बाद महबूबा मुफ्ती ने भी अपने पद से इस्तीफा दे दिया है।
जिसके बाद आज जम्मू-कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने अपने पार्टी के विधायकों के साथ बैठक की। बैठक के बाद महबूबा मुफ्ती ने पत्रकार वार्ता की। महबूबा मुफ्ती ने कहा कि बीजेपी एक बहुत बड़ी पार्टी है और पीएम नरेंद्र मोदी को देश में बहुत बड़ा बहुमत मिला था इसलिए पीडीपी ने उसके संग मिलकर राज्य में सरकार बनायी थी।
महबूबा मुफ्ती ने पत्रकार वार्ता में अपनी सरकार की उपलब्धियाँ गिनायीं। महबूबा मुफ्ती ने राज्य के 1100 युवाओं पर दायर किए गये मुकदमे वापस लेने को हवाला दिया। महबूबा मुफ्ती ने राज्य में एकतरफा सीजफायर को भी अपनी सरकार का बड़ी उपलब्धि बतायी। महबूबा मुफ्ती ने कहा कि एकतरफा सीजफायर।
पीडीपी नेता महबूबा मुफ्ती ने कहा कि हम कश्मीर में संवाद और सुलह – समझौता के लिए प्रयासरत रहेंगे तथा भाजपा के साथ गठबंधन सत्ता के लिए नहीं था।
महबूबा मुफ्ती ने कहा कि उनकी पार्टी ने घाटी में 370 नहीं लागू होने दिया। महबूबा मुफ्ती ने कहा कि उनकी पार्टी ने संवाद के लिए बीजेपी के साथ गठबंधन किया था न कि सत्ता के लिए।
हमने हमेशा कहा है कि जम्मू कश्मीर में बल प्रयोग की सुरक्षा नीति काम नहीं करेगी , सुलह-समझौता महत्वपूर्ण है ।
मुख्यमंत्री के तौर पर इस्तीफा सौंपने के बाद महबूबा ने कहा कि उन्होंने राज्यपाल को बता दिया है कि हम कोई और गठबंधन नहीं करेंगे।
#WATCH LIVE from Srinagar: Mehbooba Mufti addresses a Press Conference #JammuAndKashmir https://t.co/oHY3JLHHu2
— ANI (@ANI) June 19, 2018
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