लखनऊ : लोकसभा चुनाव में करारी हार के बाद कांग्रेस में इस्तीफों के शुरू हुए दौर के तहत शनिवार को उत्तर प्रदेश विधान परिषद में पार्टी के नेता दीपक सिंह समेत दल के 36 वरिष्ठ पदाधिकारियों ने भी पद से त्यागपत्र दे दिया। उच्च सदन में कांग्रेस के नेता दीपक सिंह ने खुद इस्तीफे की पेशकश कर चुके पार्टी अध्यक्ष राहुल गांधी को लिखे पत्र में कहा ”आप अपने इस्तीफे पर अड़े हैं तो हमें भी अपने पद पर रहने का कोई औचित्य नहीं। मैं पार्टी द्वारा सौंपी गयी जिम्मेदारियों -नेता विधान परिषद दल और प्रदेश कांग्रेस महामंत्री पद से त्यागपत्र देता हूं।” उन्होंने पत्र में कहा ”आपसे सादर अनुरोध है कि आप अपना इस्तीफा वापस लें अन्यथा हम इससे बड़ा कदम उठाने के लिए बाध्य होंगे।”
इसके अलावा प्रदेश कांग्रेस के 35 अन्य पदाधिकारियों ने भी इस्तीफा दे दिया। पार्टी की ओर से जारी बयान के मुताबिक हाल में हुए लोकसभा चुनाव में अपेक्षित परिणाम ना आने और कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के इस पद से इस्तीफा दिये जाने के कारण प्रदेश कांग्रेस विधानमंडल दल की उपनेता एवं प्रदेश कांग्रेस महामंत्री आराधना मिश्रा ‘मोना’, वरिष्ठ उपाध्यक्ष एवं पूर्व मंत्री रणजीत सिंह जूदेव और उपाध्यक्ष आर0पी0 त्रिपाठी ने भी अपने—अपने पदों से त्यागपत्र दे दिया।
इस्तीफा देने वालों में प्रदेश कांग्रेस मीडिया विभाग के कोआर्डिनेटर राजीव बख्शी, ज्वाइन्ट मीडिया कोआर्डिनेटर पीयूष मिश्रा, प्रदेश कांग्रेस के महामंत्री एवं प्रवक्ता ओंकारनाथ सिंह और महामंत्री विनोद मिश्रा भी शामिल हैं। इसके अलावा पार्टी प्रदेश महामंत्री एवं पूर्व विधायक सतीश अजमानी, श्यामकिशोर शुक्ल, महामंत्री हनुमान त्रिपाठी, महामंत्री एवं प्रवक्ता द्विजेन्द्र त्रिपाठी, विभाग एवं प्रकोष्ठ प्रभारी वीरेन्द्र मदान, संगठन मंत्री शिव पाण्डेय, सचिव एवं प्रवक्ता पंकज तिवारी, प्रवक्ता बृजेन्द्र कुमार सिंह, प्रवक्ता मंजू दीक्षित और सोशल मीडिया इंचार्ज संजय सिंह समेत कुल 35 पदाधिकारियों ने भी चुनाव में हार की जिम्मेदारी लेते हुए अपने-अपने पदों से इस्तीफा दे दिया है।
गौरतलब है कि लोकसभा चुनाव में कांग्रेस की करारी पराजय के बाद पार्टी में इस्तीफा देने का सिलसिला चल पड़ा है। देश के अन्य राज्यों की तरह उत्तर प्रदेश में भी कांग्रेस को बेहद करारी हार का सामना करना पड़ा था। पार्टी अध्यक्ष राहुल को भी अपने गढ़ अमेठी में शिकस्त का मुंह देखना पड़ा था।