प्रांतीय राजधानी लखनऊ में कोरोना संक्रमितों की संख्या में तेजी से हो रही वृद्धि को देखते हुए शासन-प्रशासन ने सख्त कदम उठाए हैं। शुक्रवार को लखनऊ के जिलाधिकारी ने कोविड-19 नियमों का पालन करने की कड़ी हिदायत के साथ कहा है कि सभी प्रतिष्ठानों और कार्यस्थलों पर आने वालों का स्पष्ट विवरण अंकित किया जाए।
उल्लेखनीय है कि कोरोना संक्रमण फिर तेजी से बढ़ रहा है। पिछले 24 घंटे में लखनऊ में सबसे ज्यादा 77 नये मामले मिले हैं, जबकि यहां कुल 381 मरीज उपचाराधीन हैं। दो माह बाद लगातार दूसरे दिन संक्रमण के 50 से अधिक मामले आने से प्रशासन की चिंता बढ़ गई है। बुधवार को भी लखनऊ में 54 नये मामले आए थे। लखनऊ में पिछले दो सप्ताह में संक्रमण से और चार लोगों की मौत होने से अब तक मरने वालों का आंकड़ा 1190 पर पहुंच गया है। इसके बाद जिलाधिकारी ने दिशा निर्देश जारी किये हैं।
लखनऊ के जिलाधिकारी अभिषेक प्रकाश ने शुक्रवार को जारी दिशा निर्देश में कहा कि संक्रमण के मामलों में फिर से हो रही वृद्धि के मद्देनजर कोविड-19 प्रबंधन हेतु पूर्व में जारी रक्षात्मक निर्देशों का कड़ाई से अनुपालन आवश्यक है। जिलाधिकारी ने कहा कि संक्रमितों की पड़ताल में यह तथ्य सामने आया है कि कुछ प्रतिष्ठानों और कार्यस्थलों पर आने वाले लोगों का स्पष्ट विवरण दर्ज नहीं किए जाने से समस्या उत्पन्न हो रही है।
पहले भी निर्देश जारी किये गये थे सभी प्रतिष्ठान, कार्यस्थल प्रबंधक अपने यहां आने वालों का नाम, पता और मोबाइल नंबर रजिस्टर में दर्ज कर लें ताकि संक्रमण की कड़ी तोड़ने के लिए प्रभावी कार्रवाई की जा सके। कड़ाई के साथ इस व्यवस्था के अनुपालन का निर्देश देते हुए डीएम ने चेतावनी दी है कि उल्लंघन को दंडनीय अपराध की श्रेणी में माना जाएगा।
उत्तर प्रदेश के अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य अमित मोहन प्रसाद ने एक बयान में कहा कि कोरोना संक्रमण से बचाव जरूरी है और अगर आप संक्रमित नहीं होते तो संक्रमण की श्रृंखला को भी तोड़ते हैं, इसलिए सावधानी बहुत जरूरी है। मुंह और नाक को ढककर रखने की सलाह के साथ उन्होंने कहा कि ‘‘दो गज की दूरी और मास्क है जरूरी’’, इस मंत्र का पालन करते रहिए।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने संक्रमण रोकने के लिए कोरोना के नमूनों का परीक्षण और तेजी से करने के निर्देश दिये हैं।