भारत के सबसे बड़े सामाजिक संगठन राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के अखिल भारतीय कार्यकारी मंडल की 4 दिवसीय बैठक प्रयागराज में रविवार से शुरू हो रही है। इस बैठक में संघ प्रमुख मोहन भागवत (Mohan Bhagwat) के विजय दशमी के संबोधन में शामिल विषयों पर चर्चा होगी।संगठन के अखिल भारतीय प्रचार प्रमुख सुनील आंबेकर (Sunil Ambekar) ने बताया कि संघ प्रमुख ने अपने उद्बोधन में जनसंख्या में असंतुलन, मातृभाषा में शिक्षा, शिक्षा, महिला सहभाग और समाज के सभी वर्गों से संवाद का उल्लेख किया था। उन्होंने सामाजिक समरसता के संदर्भ में पूरे समाज को कैसे सामने आना चाहिए, इस पर चर्चा की थी।
आंबेकर ने शहर से करीब 20 किलोमीटर दूर गौहनिया में बैठक स्थल पर संवाददाताओं को जानकारी देते हुए बताया कि इस बैठक में सरसंघचालक मोहन भागवत भी उपस्थित रहेंगे। उन्होंने बताया कि इस बैठक में प्रति वर्ष मार्च में होने वाली प्रतिनिधि सभा की बैठक में बनाई गई योजनाओं की समीक्षा भी होगी। उन्हेांने यह भी कहा, ‘‘संघ 2025 में अपना शताब्दी वर्ष मनाएगा। देश में 55,000 स्थानों पर संघ का कार्य चल रहा है जिसे मार्च, 2024 तक एक लाख स्थानों पर संघ के कार्य को पहुंचाने का लक्ष्य है।’’ उन्होंने बताया कि इस बैठक में सभी 45 प्रांतों के प्रांतीय संघचालक, इन प्रांतों के प्रांत कार्यवाह, प्रांत सह-कार्यवाह, प्रांत प्रचारक और सह प्रचारक भाग ले रहे हैं। इन सभी को मिलाकर कार्यकारी मंडल बनता है।
बैठक के लिए सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम
आंबेकर ने बताया कि बैठक में आरएसएस के सभी अखिल भारतीय अधिकारी जैसे सरसंघचालक मोहन भागवत, सर कार्यवाह दत्तात्रेय होसबले, सभी कार्य विभाग के प्रमुख पदाधिकारी शामिल होंगे। इनके अलावा, आरएसएस की जो भी गतिविधियां चलती हैं जैसे कुटुंब परिवार प्रबोधन, पर्यावरण, समरसता, इनके कार्य प्रमुख भी उपस्थित रहेंगे। गौहनिया स्थित एक विद्यालय के परिसर में आयोजित होने जा रही इस बैठक के लिए सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं। आम लोगों को विद्यालय परिसर की तरफ जाने की अनुमति नहीं है।