उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री श्री केशव प्रसाद मौर्य, उच्च शिक्षा एवं आईटी मंत्री श्री योगेंद, उपाध्याय और प्रतिनिधिमंडल ने राज्य में निवेश को लेकर आज नीदरलैंड की सरकार के साथ द्विपक्षीय चर्चा की।
मौर्य ने आज यहां उत्तर प्रदेश ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट-2023 में प्रतिभाग करने तथा राज्य में निवेश करने के संबंध में नीदरलैंड सरकार के साथ द्विपक्षीय चर्चा की। इस दौरान नीदरलैंड के भारत के साथ फारेन इकोनामिक रिलेशन को और अधिक मजबूत करने की आवश्यकता पर बल दिया। उपमुख्यमंत्री ने उत्तर प्रदेश में कृषि, खाद्य प्रसंस्करण और डेयरी तथा अन्य क्षेत्रों में निवेश की अपार संभावनाओं तथा सरकार द्वारा निवेश के लिए उत्तर प्रदेश के उचित माहौल तथा अन्य विशिष्ट विशेषताओं की जानकारी दी और इन क्षेत्रों में निवेश के लिए सहयोग और साझेदारी के लिए आमंत्रित किया। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश भौगोलिक एवं सांस्कृतिक विविधताओं से समृद्ध प्रदेश है। खाद्य प्रसंस्करण कृषि और उद्योग के बीच की कड़ है। भारत में खाद्य प्रसंस्करण उत्पाद का लगभग 10 प्रतिशत फलों एवं सब्जियों के लिए न्यूनतम दो प्रतिशत एवं दुग्ध के लिए अधिकतम 35 प्रतिशत से अधिक है।
उत्तर प्रदेश में खाद्य प्रसंस्करण पर तृतीय स्तर छह प्रतिशत है। राज्य में खाद्य प्रसंस्करण के क्षेत्र में आईटी सेक्टर के बाद सबसे ज्यादा रोजगार की संभावनाएं भी विद्यमान है। इन उद्योगों के विकास से न केवल खाद्य प्रसंस्करण क्षेत्र का विकास होगा बल्कि अन्य संबंधित उद्योगों एवं सेवा क्षेत्र का भी विकास होता है। फलों एवं सब्जियों का खाद्य प्रसंस्करण स्तर को बढ़ने की नितांत आवश्यकता है। जिससे प्रदेश से अधिकाधिक निर्यात स्तर के उत्पाद तैयार कराकर निर्यात कराया जा सकता है। उल्लेखनीय है कि उप मुख्यमंत्री श्री केशव प्रसाद मौर्य की पहल और अनुरोध पर उत्तर प्रदेश में ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट-2023 से पहले नीदरलैंड अपनी सरकार के प्रतिनिधिमंडल को उत्तरप्रदेश भेजने की सहमति दी। यह प्रतिनिधिमंडल यहां पर निवेश की संभावनाओं को तलाशने, निवेश की परियोजनाओं की योजना बनाने के लिए यहां का भ्रमण करेगा और उसके बाद आयोजित होने वाली समिति में भी भाग लेगा।