उत्तर प्रदेश में इतिहास रचते हुए योगी आदित्यनाथ ने लगातार दूसरी बार मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। उनके साथ 52 मंत्रियों ने भी शपथ ली। योगी सरकार 2.0 में बीजेपी ने जातिगत समीकरण को साधने की पूरी कोशिश की है।योगी आदित्यनाथ के साथ 52 मंत्री भी शपथ लेंगे। इसमें कुछ पुराने के साथ नए चेहरों को भी मौका दिया गया है।
कैबिनेट मंत्री के रूप में 16 विधायक शपथ लेंगे
इसमें केशव मौर्य और ब्रजेश पाठक डिप्टी CM बनेंगे। साथ ही कैबिनेट मंत्री के रूप में 16 विधायक शपथ लेंगे। जिसमें मुख्य रुप से सूर्य प्रताप शाही, सुरेश खन्ना, स्वतंत्र देव सिंह, बेबी रानी मौर्य, लक्ष्मी नारायण चौधरी, जयवीर सिंह और धर्मपाल सिंह, नंद गोपाल नंदी, भूपेंद्र सिंह चौधरी, अनिल राजभर, जितिन प्रसाद, राकेश सचान, अरविंद कुमार शर्मा, योगेंद्र उपाध्याय, आशीष पटेल, संजय निषाद शामिल हैं।
सूर्य प्रताप शाही : देवरिया जिले की पथरदेवा विधानसभा सीट से सूर्य प्रताप शाही ने जीत दर्ज की है। 2017 में भी सूर्यप्रताप शाही पथरदेवा से विधायक चुने गए थे। और योगी सरकार में कृषि मंत्री बने थे। वहीं सूर्य प्रताप शाही को योगी सरकार 2.0 कैबिनेट में भी शामिल किया गया है।
सुरेश खन्ना: शाहजहांपुर विधानसभा सीट भाजपा का गढ़ मानी जाती है। यहां पर लगातार 1989 से सुरेश खन्ना लगातार अपना वर्चस्व बनाये हुए हैं। सुरेश खन्ना कई बार मंत्री रह चुके हैं। इस बार भी वह कैबिनेट मंत्री बनाए गए हैं।
बेबी रानी मौर्य: दलित उपमुख्यमंत्री के लिए बीजेपी में सबसे ज्यादा चर्चा आगरा ग्रामीण सुरक्षित सीट से जीतीं बेबी रानी मौर्य को लेकर रही। बेबी रानी मौर्य उत्तराखंड की राज्यपाल थीं। उन्हें राज्यपाल पद से इस्तीफा दिलाकर विधानसभा का चुनाव लड़ाया गया। उन्हें भी कैबिनेट मंत्री बनाया गया है।
लक्ष्मी नारायण चौधरी: मथुरा की छाता विधानसभा सीट से विधायक बने लक्ष्मी नारायण चौधरी को योगी सरकार की कैबिनेट में जगह दी गई है। 2017 में भी उन्हें यूपी सरकार में मंत्री बनाया गया था।
जयवीर सिंह: उत्तर प्रदेश की मैनपुरी विधानसभा सीट से भारतीय जनता पार्टी के जयवीर सिंह ने जीत दर्ज की है। यूपी विधानसभा चुनाव के लिहाज से अति प्रमुख सीटों में एक मैनपुरी विधानसभा समाजवादी पार्टी का गढ़ मानी जाती है।
धर्मपाल सिंह: आंवला विधानसभा सीट से धर्मपाल सिंह विधायक बने हैं। धर्मपाल सिंह इसके पहले 1996, 2002 और 2012 में विधायक रह चुके हैं। इस बार उन्हें योगी सरकार के कैबिनेट मंत्रिमंडल में जगह मिली है।
नंद गोपाल नंदी: यूपी की राजनीति में नंंद गोपाल नंदी किसी पहचान के मोहताज नहीं हैं। उन्होंने 2022 का चुनाव प्रयागराज दक्षिण से बीजेपी के टिकट पर लड़ा और जीत दर्ज की। 2017 में भी उन्होंने बीजेपी के टिकट पर चुनाव लड़ा था। जिसमें जीत दर्ज करने के बाद वह योगी सरकार में कैबिनेट मंत्री बनाए गए थे।
भूपेंद्र सिंह चौधरी: भूपेंद्र सिंह चौधरी उत्तर प्रदेश विधान परिषद के सदस्य हैं. उन्हें 10 जून 2016 को उत्तर प्रदेश विधान परिषद का सदस्य चुना गया था। वह भाजपा के 2012 में पार्टी के क्षेत्रीय अध्यक्ष रहे हैं। उनको इस बार भी योगी मंत्रिमंडल में मंत्री बनाया गया है।
अनिल राजभर: उत्तर प्रदेश के वाराणसी जिले की शिवपुर विधानसभा सीट से विधायक अनिल राजभर को योगी सरकार में मंत्री बनाया गया हैं। पिछली सरकार में भी वह मंत्रिमंडल में रह चुके हैं।
जितिन प्रसाद: जितिन प्रसाद एक भारतीय राजनीतिज्ञ और भारतीय जनता पार्टी के सदस्य हैं। जितिन को 2022 में नए मंत्रिमंडल में मंत्री बनाया गया है। जितिन प्रसाद पूर्व में भारत सरकार के अनेकों विभाग के मंत्री रह चुके हैं।
राकेश सचान: कानपुर देहात की भोगनीपुर विधानसभा सीट पर राकेश सचान ने जीत का परचम फहराया है। राकेश सचान ने कांग्रेस छोड़कर चुनाव से ठीक पहले भारतीय जनता पार्टी ज्वाइन की थी। वहीं इस बार योगी सरकार में कैबिनेट मंत्री बनाया गया है।
अरविंद कुमार शर्मा: विधान परिषद सदस्य और पूर्व IAS अरविंद कुमार शर्मा ने जब भाजपा ज्वॉइन की थी तभी से अटकलें लग रही थी कि उन्हें यूपी में बड़ी जिम्मेदारी दी जाएगी। इसी कड़ी में उन्हें योगी सरकार में कैबिनेट मंत्री बनाया गया है।
योगेंद्र उपाध्याय: छात्र राजनीति से पार्षद और विधायक तक का सफर तय करने वाले ब्राह्मण समाज के बड़े चेहरे योगेंद्र उपाध्याय को भी मंत्रीमंडल में स्थान मिला है। योगेंद्र उपाध्याय ने आगरा की दक्षिण विधानसभा सीट पर जीत की हैट्रिक लगाई है।
आशीष पटेल: एमएलसी आशीष पटेल अपना दल एस के कोटे से मंत्री बनाए गए हैं। आशीष केंद्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल (अपना दल एस की राष्ट्रीय अध्यक्ष) के पति हैं।
संजय निषाद: उत्तर प्रदेश सरकार में कैबिनेट मंत्री बने निषाद पार्टी के संजय निषाद को निषाद मतों को भाजपा की तरफ मोड़ने का फल मिला है। भाजपा ने ईनाम स्वरूप उन्हें योगी सरकार में जगह दी है।