लोकसभा चुनाव 2024

पहला चरण - 19 अप्रैल

Days
Hours
Minutes
Seconds

102 सीट

दूसरा चरण - 26 अप्रैल

Days
Hours
Minutes
Seconds

89 सीट

तीसरा चरण - 7 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

94 सीट

चौथा चरण - 13 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

96 सीट

पांचवां चरण - 20 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

49 सीट

छठा चरण - 25 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

57 सीट

सातवां चरण - 1 जून

Days
Hours
Minutes
Seconds

57 सीट

लोकसभा चुनाव पहला चरण - 19 अप्रैल

Days
Hours
Minutes
Seconds

102 सीट

बाइडन ने पुतिन के खिलाफ ‘वॉरटाइम ट्रायल’ का किया आह्वान! UNHRC में होगी रूस के निलंबन की मांग

संयुक्त राष्ट्र में अमेरिका की राजदूत लिंडा थॉमस-ग्रीनफील्ड ने कहा कि अमेरिका अब यूक्रेन, यूरोपीय देशों और यूएन के अन्य भागीदारों के साथ मिलकर संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद से रूस के निलंबन की मांग करेगा।

संयुक्त राष्ट्र में अमेरिका की राजदूत लिंडा थॉमस-ग्रीनफील्ड ने कहा कि अमेरिका अब यूक्रेन, यूरोपीय देशों और संयुक्त राष्ट्र (यूएन) के अन्य भागीदारों के साथ मिलकर संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद से रूस के निलंबन की मांग करेगा। थॉमस-ग्रीनफील्ड ने बुखारेस्ट में सोमवार को एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि वह मंगलवार को न्यूयॉर्क लौटेंगी और इस दिशा में काम शुरू कर देंगी। उन्होंने कहा, ‘‘मैं दो कार्यों को अंजाम देने के लिए तत्काल न्यूयॉर्क लौट रही हूं। मैं इस मांग को कल सुबह सुरक्षा परिषद में उठाऊंगी और रूस की कार्रवाइयों का दृढ़ता एवं प्रत्यक्ष रूप से विरोध करूंगी।’’
यूक्रेन में मानवीय संकट की UN देश कर चुके हैं निंदा 
थॉमस-ग्रीनफील्ड ने कहा कि यूक्रेन के खिलाफ बिना उकसावे वाला युद्ध छेड़ने और वहां मानवीय संकट उत्पन्न करने के लिए यूएन के 140 सदस्य देश पहले ही मॉस्को की निंदा कर चुके हैं। उन्होंने कहा कि रूस के पास उस निकाय में अधिकार की स्थिति नहीं होनी चाहिए, न ही अंतरराष्ट्रीय समुदाय को रूस को परिषद में अपनी भूमिका का इस्तेमाल इस बात के प्रचार के लिए करने देना चाहिए कि वह मानवाधिकारों को लेकर कितना चिंतित है।
मानवाधिकार परिषद में रूस की भागीदारी एक स्वांग
थॉमस-ग्रीनफील्ड ने कहा, ‘‘हमने हर रोज, यहां तक कि कल भी देखा था कि उन्हें मानवाधिकारों की कितनी चिंता है। मानवाधिकार परिषद में रूस की भागीदारी एक स्वांग है। इससे परिषद और संयुक्त राष्ट्र की विश्वसनीयता को ठेस पहुंचती है। इसलिए हमारा मानना है कि समय आ गया है कि संयुक्त राष्ट्र महासभा उसे निलंबित कर दे।’’ ‘एनपीआर’ को दिए एक साक्षात्कार में वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि यह कदम केवल प्रतीकात्मक नहीं, बल्कि उससे कहीं अधिक है।
बाइडन ने रूस के खिलाफ ‘वॉरटाइम ट्रायल’ का किया आह्वान 
थॉमस-ग्रीनफील्ड ने कहा, ‘‘उनका कहना है कि वे जो कर रहे हैं, वो सामान्य है। यह सामान्य नहीं है। पूरी दुनिया उन्हें यह स्पष्ट संदेश देगी कि वे अपनी गलत सूचनाओं के प्रसार के लिए संयुक्त राष्ट्र के मंच का इस्तेमाल नहीं कर सकते।’’ इसके साथ ही अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने यूक्रेन के बूचा शहर में कथित नागरिकों की हत्याओं को लेकर रूस के खिलाफ ‘वॉरटाइम ट्रायल’ का आह्वान किया है, जहां 300 से अधिक शवों के साथ एक सामूहिक कब्र मिली है।
मीडिया को संबोधित करते हुए, बाइडेन ने कहा, पुतिन को युद्ध अपराधी कहने के लिए मेरी आलोचना हुई। खैर, मामले की सच्चाई आपने देखा कि बूचा में क्या हुआ। यह उन्हें बताता है कि वह एक युद्ध अपराधी हैं। लेकिन हमें जानकारी एकत्र करनी है, हमें यूक्रेन को हथियार प्रदान करना जारी रखना है जो उन्हें लड़ाई जारी रखने के लिए आवश्यक है और हमें सभी विवरण प्राप्त करने होंगे ताकि यह वास्तविक हो कि युद्धकालीन ट्रायल हो।
बाइडन ने रुसी रष्ट्रपति पुतिन को बताया ‘क्रूर’
अमेरिकी राष्ट्रपति ने पुतिन को ‘क्रूर’ करार देते हुए कहा कि बूचा में हुई घटना ‘घृणित’ थी। यह पूछे जाने पर कि क्या वह सहमत हैं कि कथित बूचा हत्याएं एक नरसंहार थी, बाइडेन ने कहा, नहीं, मुझे लगता है कि यह एक युद्ध अपराध है। राष्ट्रपति ने कहा कि वह पुतिन के खिलाफ और प्रतिबंध लगाने की सोच रहे हैं, लेकिन उन्होंने कोई और विवरण नहीं दिया। रूस ने हालांकि इस आरोप का खंडन किया और कहा है कि बूचा में नरसंहार की प्रकाशित तस्वीरें और वीडियो कीव सरकार की ओर से प्रसारित की गई हैं, जोकि नकली है।
बूचा घटनाक्रम को जेलेंस्की ने बताया ‘नरसंहार’
बूचा के घटनाक्रम की व्यापक निंदा हुई है। वहीं यूक्रेन के राष्ट्रपति वलोडिमिर जेलेंस्की ने हत्याओं को ‘नरसंहार’ करार दिया है। ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने रूस पर ‘घृणित हमलों’ का आरोप लगाया। यूरोपीय आयोग के प्रमुख, उर्सुला वॉन डेर लेयेन ने कहा कि एक स्वतंत्र जांच की तत्काल आवश्यकता थी। जर्मन चांसलर ओलाफ स्कोल्ज ने इसकी ‘भयानक युद्ध अपराध’ के रूप में निंदा की और फ्रांसीसी राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रॉन ने चित्रों को ‘असहनीय’ बताया।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

twelve − 7 =

पंजाब केसरी एक हिंदी भाषा का समाचार पत्र है जो भारत में पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, हिमाचल प्रदेश और दिल्ली के कई केंद्रों से प्रकाशित होता है।