अमेरिका में दो दिन के भीतर 2 बैंकों के दिवालिया होने की खबर ने विश्वभर में तहलका मचा दिया है। दरअसल यूनाइटेड स्टेट्स के दो बड़े बैंक सिलिकॉन वैली बैंक (Silicon Valley Bank) और सिग्नेचर बैंक (Signature Bank) दिवालिया हो चुके है। जिसके बाद से लोगों को अपने पैसे डूबने का डर सता रहा है। इस बीच तमाम शंकाओं को दूर करते हुए अमेरिकी सरकार ने डिपॉजिटर्स को आश्वासन दिया है कि उनका पैसा सुरक्षित है और वह उसे निकाल पाएंगे।
जानें क्यों डूबा बेस्ट बैंक
सिलिकॉन वैली बैंक स्टार्टअप्स से डिपॉजिट लेने और उसे किसी अन्य स्टार्टअप में डालने या अन्य जगह पर निवेश करने के लिए जाना जाता था। बता दें कि ये बैंक पिछले कई वर्षों से बेस्ट बैंक का खिताब अपने नाम कर रहा था। दरअसल SVB ने अपना पैसा अमेरिकी बॉन्ड में निवेश किया था। फेडरल बैंक की ओर से ब्याज दरें बढ़ाने का ऐलान किया गया। जिसके बाद बॉन्ड में गिरावट देखने को मिली।
मार्किट में मंदी की आहत से घबराए स्टार्टअप्स ने बैंक से अपना पैसा निकालना शुरू कर दिया। डिपॉजिटर्स को पैसे चुकाने के लिए बैंक ने अपने 21 बिलियन डॉलर के बॉन्डस बेच दिए। जिसके कारण लगभग 1.75 बिलियन डॉलर का नुकसान बैंक को झेलना पड़ा। बैंक ने लगभग 20000 करोड़ रुपए का इश्यू जारी किया है और कैपिटल रेज करने की घोषणा की। SVB के इस फैसले के बाद लोगों को लगा कि बैंक के पास पैसा नहीं है।
डिपॉजिटर्स अपने पैसे निकालने लगे जिसके नतीजा यह निकला कि बैंक दिवालिया हो गया। वहीं दूसरी ओर सिग्नेचर बैंक भी दिवालिया हो चुका है। बता दें कि सिग्नेचर बैंक के पास क्रिप्टोकरेंसी का स्टॉक था। क्रिप्टोकरेंसी स्टॉक की स्थिति को देखते हुए फेडरल डिपॉजिट इंश्योरेंस कॉरपोरेशन ने बैंक पर कंट्रोल कर लिया।
लोगों को मिलेगा पूरा पैसा
विश्लेषकों की माने तो इन दोनों बैंको के डूबने की मुख्य वजह ब्याज दरों का बढ़ना है। डिपॉजिटर्स को अपने पैसे डूबने का डर सता रहा है। वहीं अमेरिकी सरकार और केंद्रीय बैंक ने आश्वाशन दिया है कि लोगों को उनका पूरा पैसा मिलेगा।