दुनियाभर में फैले कोरोना वायरस का असर भारत में भी तेजी से बढ़ रहा है। जिसके चलते भारत में कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए देश में विदेशी यात्राओं पर पाबंदी लगा दी गई है। वहीं फ़िलिपींस में पढ़ाई कर रहे भारतीय विद्यार्थी फंस गए हैं। उन भारतीय छात्रों ने वीडियो संदेशों के जरिए भारत सरकार से मदद मांगी है। भारत द्वारा लगाई गई पाबंदियों के कारण स्वदेश नहीं लौट पा रहे है।
इन छात्रों के अमेरिका में रह रहे कुछ दोस्तों और रिश्तेदारों ने यह जानकारी दी। भारत सरकार ने कोविड-19 के खतरे के खिलाफ अपने प्रयासों को तेज करने के बीच अफगानिस्तान, फ़िलिपींस और मलेशिया से यात्रियों के भारत में प्रवेश पर मंगलवार को तत्काल प्रभाव से प्रतिबंध लगा दिया।
इनमें से एक छात्रा अखिल बाला नायर ने वीडियो संदेश में कहा कि करीब 200 भारतीय छात्रों ने अगले कुछ दिनों में भारत के लिए विमान की टिकटें बुक कराई थी लेकिन नयी नीति के कारण सभी टिकटें रद्द कर दी गईं। नायर ने जयपुर फुट यूएसए के प्रमुख प्रेम भंडारी को भेजे वीडियो संदेश में कहा कि ज्यादातर छात्रों ने 17 मार्च के लिए टिकट कराई थी और बाकियों को 19 तथा 20 मार्च को भारत की यात्रा करनी थी।
लेकिन टिकटों को रद्द कर दिया गया और मनीला में सैकड़ों भारतीय छात्र हवाईअड्डे पर फंसे हैं। भारतीय समुदाय के लिए काम कर चुके और इन छात्रों के संपर्क में रहने वाले भंडारी ने कहा यह वक्त की मांग है कि भारत सरकार इन भारतीय छात्रों को घर लाने के लिए एक विमान भेजे। इन छात्रों के अनुसार, इनमें से करीब 100 छात्र मंगलवार से हवाईअड्डे पर हैं।
उन सभी के पास टिकट थी लेकिन हवाईअड्डा अधिकारी नए यात्रा नियमों के कारण उन्हें चेक-इन करने नहीं दे रहे।हवाईअड्डा अधिकारियों ने उन्हें अपने-अपने आवास पर वापस जाने के लिए कहा है लेकिन छात्रों ने कहा कि वे स्थानीय टैक्सी या यातायात की अन्य सेवाओं के न होने के कारण यात्रा नहीं कर पा रहे हैं।
छात्रों ने बताया कि उनके पास कम वक्त बचा है क्योंकि फ़िलिपींस सरकार ने उन्हें देश से जाने के लिए 72 घंटे का समय दिया है जो 16 मार्च को शुरू होगा जिसके बाद देश में बंद जैसे हालात होंगे। नायर ने अपने संदेश में कहा इसका मतलब है कि हम 20 मार्च के बाद फ़िलिपींस के बाहर कहीं भी यात्रा नहीं कर पाएंगे।
छात्रों ने कहा कि उनमें से कई ने वीजा नवीनीकरण के लिए आवेदन किया है और वे भारत नहीं आना चाहते। उन्होंने बताया कि मनीला में करीब 1,000 भारतीय छात्र है जो स्वदेश लौटना चाहते हैं। इस बीच मनीला में भारतीय दूतावास ने ट्वीट किया कि वे विदेश मंत्रालय के साथ मिलकर इसका हल निकालने की कोशिश कर रहे हैं।