बांग्लादेश के राष्ट्रपति मोहम्मद अब्दुल हमीद ने मंगलवार को उस अध्यादेश पर हस्ताक्षर कर दिया, जिसके तहत दुष्कर्म मामलों में अधिकतम सजा को उम्रकैद से बदलकर मौत की सजा में तब्दील कर दिया गया। बीडीन्यूज24 की रिपोर्ट के अनुसार, महिला और बाल उत्पीड़न रोकथाम अधिनियम में संशोधन की स्वीकृति प्रधानमंत्री शेख हसीना के नेतृत्व वाली कैबिनेट ने सोमवार को दी, जिसके बाद यह कदम उठाया गया।
इससे पहले दुष्कर्म के मामलों में अधिकतम सजा उम्रकैद थी।
हाल के दिनों में नोआखली और सयालहट के एमसी कॉलेज में महिलाओं के साथ यौन दुर्व्यवहार और दुष्कर्म के मामलों में ढाका के शाहबाग स्कवॉयर व देश के अन्य भागों में विभिन्न संगठनों ने प्रदर्शन किया। बीते 16 वर्षो में बांग्लादेश में दुष्कर्म के 4541 मामले सामने आए और इनमें से केवल 60 घटनाओं में ही आरोपी को सजा मिल पाई।